ग्रोथ इक्विटी इन्वेस्टर जनरल अटलांटिक (General Atlantic) भारतीय बाजार में अगले कुछ वर्षों तक सालाना 8,200 करोड़ रुपये (एक अरब डॉलर) का निवेश करेगी।
कंपनी ने यह कदम भारत में फाइनेंशियल इन्क्लूशन (financial inclusion) का विस्तार करने और टेक्नोलॉजी के उपयोग को बढ़ाने के लिए पीएम मोदी के आह्वान को देखते हुए लिया है।
जनरल अटलांटिक के प्रबंध निदेशक (MD) और इंडिया हेड प्रमुख शांतनु रस्तोगी ने कहा, “हम सरकार द्वारा घोषित बड़े नीतिगत बदलावों पर नजर रख रहे हैं जो सेवाओं और उत्पादों के लिए डिजिटल बुनियादी ढांचे के निर्माण में तेजी लाएंगे।”
उन्होंने कहा, “किफायती सप्लाई, फाइनेंशियल इन्क्लूशन के लिए किफायती बुनियादी ढांचा, किफायती डेटा हमारे लिए बड़े विषय हैं।”
रस्तोगी ने कहा कि इस नियोजित निवेश की तुलना 50 करोड़ डॉलर से 1.2 अरब डॉलर के साथ की जा सकती है जिसे जनरल अटलांटिक ने हाल के वर्षों में दक्षिणपूर्व एशिया और भारत में हर साल निवेश किया है।
न्यूयॉर्क स्थिति कंपनी ने पिछले दो दशक से अधिक समय के दौरान भारत में 4.6 अरब डॉलर से ज्यादा का निवेश किया है। यह निजी इक्विटी फर्म ग्लोबल लेवल पर करीब 71 अरब डॉलर की एसेट का मैनेजमेंट करती है।
ऑनलाइन पेमेंट एप PhonePe Pvt के 45 करोड़ से अधिक रजिस्टर्ड यूजर्स है। फोनपे देश में फर्मों में से है, जिन्हें भारत में जनरल अटलांटिक से फंडिंग मिली है।
यह भी पढ़े: PhonePe ने 12 अरब डॉलर के मूल्यांकन पर जनरल अटलांटिक से जुटाए 10 करोड़ डॉलर
रस्तोगी ने कहा, “भारत वास्तव में चिकित्सा उपकरणों और उपभोग्य सामग्रियों के लिए भी एक बहुत ही दिलचस्प विनिर्माण केंद्र बन रहा है और अगले 10 वर्षों में चार या पांच बड़ी कंपनियों का उदय हो सकता है।