सेमीकंडक्टर की किल्लत के कारण नई कारों की बिक्री में सीमित वृद्धि दिख रही है लेकिन इससे पुरानी कारों की मांग में जबरदस्त तेजी दर्ज की जा रही है। लोगों द्वारा निजी वाहनों को प्राथमिकता दिए जाने के अलावा ई-कॉमर्स चैनल, एग्रीगेटर एवं क्लासीफाइड्स जैसे विभिन्न संगठित ऑनलाइन प्लेटफॉर्मों की उपलब्धता से वृद्धि को रफ्तार मिल रही है।
पुरानी कार बाजार की वृद्धि दर अगले पांच वर्षों के दौरान नई कार बाजार के मुकाबले 1.5 गुना होने की उम्मीद है। ओएलएक्स ऑटो और क्रिसिल ऑटो के एक हालिया अध्ययन के अनुसार वित्त वर्ष 2021 में यह 1.4 गुना रही। इसमें संगठित कंपनियों की हिस्सेदारी बढ़कर वित्त वर्ष 2026 तक 30 फीसदी तक पहुंचने का अनुमान जाहिर किया गया है जो वित्त वर्ष 22 में 20 से 22 फीसदी के दायरे में रहने के आसार हैं।
ड्रूम टेक्नोलॉजिज के संस्थापक एवं सीईओ संदीप अग्रवाल ने कहा कि पिछले ढाई साल से बिक्री में तेजी दिख रही है। मीडिया खबरों के अनुसार, स्टार्टअप के बाद ऑनलाइन ऑटोमोबाइल मार्केटप्लेस करीब 1,000 करोड़ रुपये की हैसियत के साथ पूंजी बाजार में दस्तक देने की तैयारी कर रहा है।
अग्रवाल ने कहा, ‘हमने सात साल पहले इसकी शुरुआत की थी और हमने कोई अल्पावधि लाभ के लिए ऐसा नहीं किया था। सात साल पहले अपनी स्थापना के बाद ड्रूम ने सात दौर के वित्त पोषण के तहत रकम जुटाई है। इस साल के आरंभ में सातवें दौर के बाद मूल्यांकन 1.2 अरब डॉलर हो गया।’
ओएलएक्स ऑटो के सीईओ अमित कुमार के अनुसार, पुरानी कारों के कई खरीदार पहली बार के खरीदार हैं। ऐसे ग्राहकों की तादाद अब 40 से 50 फीसदी हो चुकी है। वित्त वर्ष 2021 में इस प्लेटफॉर्म पर पुरानी कारों के विज्ञापन के बारे में पूछताछ करने वाले उपयोगकर्ताओं की संख्या में 30 फीसदी की वृद्धि हुई है।
महिंद्रा फस्र्ट चॉइस व्हील्स ने कहा कि कंपनी ने धनतेरस पर रिकॉर्ड 1,028 वाहनों की डिलिवरी की। ये डिलिवरी 300 शहरों के 1,100 से अधिक डीलरशिप को की गईं। कंपनी के एमडी एवं सीईओ आशुतोष पांडेय ने कहा, ‘इस साल का त्योहारी सीजन काफी दमदार रहा क्योंकि इस ब्रांड ने 40 फीसदी वृद्धि दर्ज की।’ कंपनी के ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म कारऐंडबाइक डॉट कॉम ने त्योहारी अवधि की कुल बिक्री में 25 फीसदी योगदान किया।