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राष्ट्रीय पेंशन योजना (NPS) से यूनिफाइड पेंशन स्कीम (UPS) में स्विच करने की अंतिम तिथि आज, 30 सितंबर, है। इस दिन के बाद योग्य सब्सक्राइबर्स के पास यह बदलाव करने का मौका नहीं रहेगा।
केंद्र सरकार ने UPS विकल्प की घोषणा 24 जनवरी, 2025 को की थी। इसमें पहले भी अंतिम तिथि बढ़ाई गई थी, लेकिन अब यह आखिरी मौका है। 1 अप्रैल 2025 से लागू यूनिफाइड पेंशन स्कीम (UPS) के तहत रिटायरमेंट के समय कर्मचारियों को न्यूनतम ₹10,000 पेंशन का लाभ मिलेगा। इसके अलावा इस योजना में कर्मचारी अपने जमा किए गए फंड का 60 प्रतिशत तक टैक्स-फ्री निकासी कर सकते हैं। जो कर्मचारी UPS चुनते हैं, उन्हें ग्रेच्युटी का लाभ भी मिलेगा।
रिटायर होने के बाद कर्मचारियों को मासिक पेंशन उनकी अंतिम 12 महीनों की औसत बेसिक सैलरी का 50 प्रतिशत दी जाएगी। इसके लिए जरूरी है कि कर्मचारी ने कम से कम 25 साल सरकारी सेवा में पूरी की हो।
इस योजना में सरकार 18.5 प्रतिशत और कर्मचारी 10 प्रतिशत अपने बेसिक सैलरी और महंगाई भत्ता (DA) के हिसाब से पेंशन फंड में योगदान देंगे।
यह योजना केंद्र सरकार के कर्मचारियों के लिए पेंशन सुरक्षा को मजबूत करने और रिटायरमेंट के बाद स्थिर आय सुनिश्चित करने का एक महत्वपूर्ण कदम है।
बता दें कि केंद्रीय कर्मचारियों के लिए, जो 1 अप्रैल, 2025 या उसके बाद सेवा में शामिल हुए और 31 अगस्त, 2025 तक शामिल हुए, उनके पास UPS में एक बार स्विच करने का आज (30 सितंबर) आखिरी अवसर है।
UPS स्विच करने से पहले जानें जरूरी बातें:
UPS, NPS की तुलना में अधिक कवरेज और लचीला रिटायरमेंट सेविंग विकल्प प्रदान करता है। यह योजना विभिन्न सेक्टरों, खासकर सरकारी कर्मचारियों के लिए डिजाइन की गई है। UPS NPS के ढांचे के तहत आती है और इसे PFRDA द्वारा नियंत्रित किया जाता है। यह योजना सेवा में मौजूद कर्मचारियों और सेवानिवृत्त कर्मचारियों दोनों के लिए लागू है, हालांकि इसके कुछ लाभ और शर्तें दोनों समूहों के लिए अलग-अलग हो सकती हैं।
UPS में ट्रांजिशन के लिए केंद्रीय कर्मचारियों को उनके रोजगार की स्थिति के अनुसार फॉर्म भरना होगा।
ये फॉर्म और आवश्यक दस्तावेज डाउनलोड किए जा सकते हैं Protean CRA की आधिकारिक वेबसाइट से।
यूनिफाइड पेंशन स्कीम (UPS) के तहत पात्रता कुछ इस प्रकार है। इस योजना में शामिल हो सकते हैं मौजूदा केंद्रीय कर्मचारी जो 1 अप्रैल 2025 को NPS में हैं, साथ ही वे नए कर्मचारी जो 1 अप्रैल 2025 या उसके बाद केंद्रीय सेवा में शामिल हुए।
इसके अलावा, पूर्व NPS सदस्य जो 31 मार्च 2025 या उससे पहले रिटायर हुए हैं, वे भी UPS के लिए योग्य हैं, बशर्ते उन्होंने कम से कम 10 साल सेवा पूरी की हो, FR 56(j) के तहत रिटायरमेंट हुआ हो (सजा के तहत नहीं), और सदस्य की मृत्यु होने पर वैध जीवनसाथी मौजूद हो।
इस प्रकार UPS का लाभ केवल उन्हीं कर्मचारियों और पूर्व कर्मचारियों को मिलेगा जो इन शर्तों को पूरा करते हैं।
UPS सब्सक्राइबर्स को आयकर अधिनियम, 2025 के तहत कर लाभ मिलेंगे। इसमें रिटायरमेंट के समय मिलने वाली लंप सम राशि पर टैक्स छूट शामिल है, जो कर्मचारियों के लिए यह योजना और आकर्षक बनाती है।
UPS में रिटायरमेंट के समय कर्मचारी को लंपसम राशि मिलती है। यह राशि हर छह महीने की सेवा के लिए बेसिक सैलरी और DA का दसवां हिस्सा होती है और यह पेंशन की रकम को प्रभावित नहीं करती। इसके अलावा, कर्मचारियों को ग्रेच्युटी का लाभ भी मिलता है।
NPS में रिटायरमेंट पर जमा कोष का 60 प्रतिशत हिस्सा टैक्स-फ्री निकाला जा सकता है, जबकि बाकी 40 प्रतिशत को एन्युटी में निवेश करना जरूरी होता है। NPS में लंपसम निकासी की सुविधा आसान है, लेकिन UPS में निश्चित पेंशन के साथ लंपसम का फायदा भी मिलता है।
ये अंतर कर्मचारियों को यह तय करने में मदद करते हैं कि उनके लिए कौन सी स्कीम बेहतर है। दोनों योजनाओं की अपनी-अपनी खासियतें हैं, जो अलग-अलग जरूरतों और प्राथमिकताओं को पूरा करती है।
UPS कैसे चुनें: आसान स्टेप्स में जानें पूरा प्रोसेस
केंद्र सरकार ने यूनिफाइड पेंशन स्कीम (UPS) को अपनाने के लिए ऑनलाइन सुविधा शुरू कर दी है। अब पात्र कर्मचारी खुद ही मौजूदा योजना से UPS में स्विच कर सकते हैं। इसके लिए आपको e-NPS पोर्टल पर जाकर कुछ आसान स्टेप्स पूरे करने होंगे।
सबसे पहले e-NPS पोर्टल खोलें और Unified Pension Scheme वाले सेक्शन में जाएं।
यहां अपना PRAN नंबर और जन्मतिथि दर्ज करें और कैप्चा भरें।
आपके मोबाइल या ईमेल पर एक OTP आएगा, उससे वेरिफिकेशन करें।
इसके बाद UPS को अंतिम विकल्प मानते हुए ऑनलाइन डिक्लेरेशन फॉर्म भरें।
फॉर्म को आधार या VID के जरिए ई-साइन करें।
पूरी प्रक्रिया होने पर Acknowledgment स्लिप डाउनलोड कर लें।
अगर आप ऑनलाइन प्रक्रिया नहीं अपनाना चाहते, तो Form A2 डाउनलोड करके भरें और अपने विभाग के नोडल ऑफिस में जमा करें।