नुवामा इंस्टिट्यूशनल इक्विटीज को नैशनल स्टॉक एक्सचेंज (एनएसई) और बंबई स्टॉक एक्सचेंज (बीएसई) के राजस्व और लाभ में वृद्धि का भरोसा है। हालंकि कई नियामकीय बदलाव हुए हैं जिनका एक्सचेंजों के राजस्व पर असर पड़ सकता है। रिपोर्ट में कहा गया है कि इंडेक्स डेरिवेटिव के हालिया नियमों से राजस्व में अल्पावधि के दौरान घट-बढ़ होगी। लेकिन इससे बाजार मजबूत होगा। इसमें कहा गया है कि एनएसई वित्त वर्ष 24-27 ई के दौरान राजस्व /एपीएटी में सालाना 10.3 फीसदी/16.8 फीसदी चक्रवृद्धि के हिसाब से बढ़ोतरी दर्ज कर सकता है।
अभी कैश सेगमेंट में एनएसई की हिस्सेदारी 93 फीसदी है जबकि इक्विटी इंडेक्स फ्यूचर्स में 99 फीसदी और इक्विटी इंडेक्स ऑप्शंस प्रीमियम में करीब 88 फीसदी हिस्सेदारी है। नुवामा के मुताबिक बाजार हिस्सेदारी एनएसई इतना आगे है कि वहां तक पहुंचना बहुत मुश्किल है। सूचीबद्ध एक्सचेंज बीएसई के लिए ब्रोकरेज ने खरीद की रेटिंग के साथ लक्षित कीमत 6,730 रुपये तय की है जो मंगलवार के बंद भाव से करीब 24 फीसदी ज्यादा है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि नियामकीय बदलाव के झटकों के बाद भी हमारा अनुमान है कि बीएसई वित्त वर्ष 24-27 ई के दौरान राजस्व/एपीएटी में 39.9 फीसदी/70.8 फीसदी सालाना चक्रवृद्धि के हिसाब से बढ़ोतरी दर्ज करेगा जिससे उसका आरओई 37.9 फीसदी पर पहुंच जाएगा।