अपनी कमोडिटी सेगमेंट पेशकशों के विस्तार के लिए नैशनल स्टॉक एक्सचेंज (NSE) ने दुनिया के प्रख्यात डेरिवेटिव मार्केटप्लेस सीएमई ग्रुप (CME Group) के साथ लाइसेंसिंग समझौता करने की घोषणा की। एनएसई ने नाइमेक्स डब्ल्यूटीआई क्रूड ऑयल और नैचुरल गैस (हेनरी हब) डेरिवेटिव अनुबंधों के लिए यह समझौता किया है।
इस समझौते से एनएसई को भारतीय बाजार के कारोबारियों के लिए इन वैश्विक बेंचमार्कों के रुपया-आधारित डेरिवेटिव अनुबंधों के निपटान में मदद मिलेगी। एक्सचेंज ने ये अतिरिक्त वायदा अनुबंध शुरू करने की मंजूरी के लिए बाजार नियामक सेबी के समक्ष आवेदन किया है।
एनएसई में मुख्य व्यावसायिक विकास अधिकारी के तौर पर हाल में कमान संभालने वाले श्रीराम कृष्णन ने कहा, ‘सेबी से मंजूरी मिलने के बाद एनएसई इन दो वैश्विक बेंचमार्कों के वायदा कारोबार उपलब्ध कराएगा, जिनका निपटान एनएसई प्लेटफॉर्म पर रुपये में किया जाएगा।’ शुरू में कृष्णन डॉयचे बैंक इंडिया में ग्लोबल ट्रांजेक्शन बैंकिंग के प्रबंध निदेशक एवं सह-प्रमुख थे।
उन्होंने कहा कि इस समझौते से बाजार कारोबारियों को अपनी कीमत जोखिम प्रबंधन गतिविधियों के साथ साथ कारोबारी उद्देश्य पूरे करने में भी मदद मिलेगी।
इस पेशकश के साथ, एनएसई मल्टी-कमोडिटी एक्सचेंज ऑफ इंडिया (एमसीएक्स) का प्रतिस्पर्धी बनकर भी उभरेगा। अब तक सिर्फ एमसीएक्स ही इन वैश्विक बेंचमार्क की पेशकश कर रहा था।