महाराष्ट्र के निवर्तमान मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे ने मंगलवार को इस्तीफा दे दिया, जिससे राज्य में नई सरकार के गठन का रास्ता साफ हो गया। महाराष्ट्र विधान सभा का कार्यकाल मंगलवार को समाप्त हो गया है। इसलिए राज्यपाल ने सरकार के नए मुखिया के शपथ लेने तक शिंदे से राज्य में कार्यवाहक मुख्यमंत्री के तौर पर काम करते रहने की गुजारिश की है।
एकनाथ शिंदे के उत्तराधिकारी के चयन को लेकर अनिश्चितता बनी हुई है, लेकिन विधान सभा चुनाव में भाजपा की शानदार जीत में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाने वाले वरिष्ठ नेता देवेंद्र फडणवीस मुख्यमंत्री पद की दौड़ में सबसे आगे हैं। लेकिन, चुनाव परिणाम आने के तीन दिन बाद भी इस बारे में कोई आधिकारिक घोषणा नहीं की गई है कि शिंदे ही मुख्यमंत्री बने रहेंगे या फडणवीस को यह जिम्मेदारी सौंपी जाएगी।
सूत्रों के मुताबिक भाजपा इस रणनीति पर काम कर रही है कि राज्य में देवेंद्र फडणवीस मुख्यमंत्री बनें और शिवसेना के शिंदे एवं राकांपा के अजित पवार को उपमुख्यमंत्री बनाया जाए। शिंदे को गठबंधन की समन्वयक समिति का अध्यक्ष पद सौंपने की बात भी कही जा रही है।
केंद्रीय मंत्री रामदास आठवले ने कहा कि भाजपा ने देवेंद्र फडणवीस को मुख्यमंत्री बनाने का निर्णय लिया है, लेकिन शिवसेना लगातार इस बात पर जोर दे रही है कि चूंकि चुनाव शिंदे के नेतृत्व में लड़ा और जीता गया है, इसलिए उन्हें ही दोबारा मुख्यमंत्री की कुर्सी पर बैठना चाहिए। राकांपा के वरिष्ठ नेता छगन भुजबल ने हाल ही में संकेत दिया था कि मुख्यमंत्री के रूप में फडणवीस उनके लिए स्वीकार्य हैं। सूत्रों ने बताया कि भाजपा दिल्ली से पर्यवेक्षक भेजेगी जो महाराष्ट्र में पार्टी विधायकों के साथ-साथ गठबंधन साझेदार दलों के नेताओं से मिलकर उनकी राय लेंगे। उसके बाद ही नई सरकार में मंत्रालयों का बंटवारा होगा और नए मुख्यमंत्री का ऐलान किया जाएगा। एजेंसी की रिपोर्ट के मुताबिक मंगलवार सुबह शिंदे और फडणवीस मुंबई में 26/11 आतंकी हमले के शहीदों को श्रद्धांजलि देने के लिए आयोजित कार्यक्रम में पहुंचे थे, लेकिन दोनों में कोई बात नहीं हुई।
राज्य में हाल ही में हुए विधान सभा चुनावों में महायुति गठबंधन ने 288 में से संयुक्त रूप से 230 सीटों पर जीत दर्ज की है। भाजपा ने राज्य में अब तक का सबसे अच्छा प्रदर्शन करते हुए 132 सीट जीती हैं। इसके बाद शिंदे नीत शिवसेना ने 57 और अजित पवार की राकांपा ने 41 सीटों पर विजय पताका फहराई है।
मोदी और शाह का फैसला स्वीकार होगा
इस बीच, एकनाथ शिंदे सरकार में मंत्री रहे दीपक केसरकर ने संवाददाताओं से कहा कि राज्य में बहुत जल्द नई सरकार शपथ ले लेगी। हर राजनीतिक कार्यकर्ता चाहता है कि मुख्यमंत्री उसकी पार्टी से हो, लेकिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह जो भी फैसला करेंगे, वह हम सभी को स्वीकार्य होगा।’ इस बीच भाजपा के एक नेता ने कहा, ‘हमें निर्णायक जनादेश मिला है और अब प्राथमिकता सरकार गठन के लिए व्यापक योजना तैयार करने की है। इसमें विभागों का बंटवारा और जिलों के प्रभारी मंत्री जैसे प्रमुख पदों का वितरण शामिल है।’
उन्होंने कहा कि गठबंधन सहयोगियों के बीच टकराव की स्थिति उत्पन्न नहीं होने देने के लिए सावधानी बरती जा रही है। भाजपा नेता ने कहा, ‘संसद का सत्र जारी रहने के कारण, केंद्रीय नेतृत्व की व्यस्तता बढ़ गई है, फिर भी वह भाजपा की महाराष्ट्र इकाई के नेताओं और सहयोगियों के साथ बैठकें कर रहे हैं तथा संसद में कामकाज सुचारू रखने की भी जिम्मेदारी संभाल रहे हैं।’
संशय के बीच शिवसेना नेता संजय शिरसाट ने कहा है कि मुख्यमंत्री कौन बनेगा, इस पर मंगलवार रात या बुधवार सुबह तक स्थिति स्पष्ट हो जाएगी। शिवसेना के प्रवक्ता ने कहा कि मुख्यमंत्री के संबंध में फैसला एकनाथ शिंदे, देवेंद्र फडणवीस और अजित पवार प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह और भाजपा के अन्य शीर्ष नेताओं के साथ चर्चा के बाद लेंगे।