हिमाचल प्रदेश सरकार ने डीजल पर लगने वाले मूल्य वर्धित कर (वैट) में शनिवार को तीन रुपये प्रति लीटर की बढ़ोतरी कर दी। राज्य उत्पाद एवं कराधान विभाग ने एक अधिसूचना में कहा कि डीजल पर वैट 9.90 प्रतिशत से बढ़ाकर 13.9 प्रतिशत कर दिया गया है।
इससे डीजल पर वैट 7.40 रुपये प्रति लीटर से तीन रुपये बढ़कर बढ़कर 10.40 रुपये प्रति लीटर हो गया है। मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू ने इस फैसले को सही ठहराते हुए कहा कि राज्य की पूर्ववर्ती भाजपा सरकार ने नवंबर, 2022 में विधानसभा चुनावों के ठीक पहले वैट में सात प्रतिशत की कटौती की थी।
ऐसे में राज्य सरकार को वित्तीय संसाधन जुटाने के लिए ऐसा करना जरूरी हो गया था। उन्होंने कहा कि भारी बारिश के कारण हिमाचल प्रदेश को भारी नुकसान उठाना पड़ा है लिहाजा राज्य को संसाधनों की जरूरत है।
उन्होंने कहा कि सड़कों, जल-आपूर्ति व्यवस्था और बिजली को अस्थायी रूप से बहाल कर दिया गया है लेकिन क्षतिग्रस्त बुनियादी ढांचे को पूरी तरह बहाल करने में लगभग एक साल लगेगा।
सुक्खू ने कहा कि डीजल पर वैट बढ़ाए जाने के बावजूद हिमाचल में पड़ोसी राज्यों उत्तराखंड, पंजाब और हरियाणा की तुलना में डीजल सस्ता है। हालांकि पूर्व मुख्यमंत्री एवं विपक्ष के नेता जयराम ठाकुर ने डीजल पर वैट बढ़ाने की आलोचना करते हुए कहा कि यह शुल्क वृद्धि ऐसे समय की गई है जब लोग अभूतपूर्व बारिश और बाढ़ के प्रभाव से जूझ रहे हैं।
ठाकुर ने इस फैसले को अतार्किक बताते हुए कहा कि इससे लोगों पर भारी बोझ पड़ेगा। इसके अलावा डीजल की कीमत बढ़ने का परिवहन क्षेत्र पर व्यापक प्रभाव पड़ता है और मुद्रास्फीति बढ़ती है।