केंद्र सरकार ने एक विशेषज्ञ समिति की वह रिपोर्ट स्वीकार कर ली है जो भारत में आधुनिक एवं स्मार्ट ऊर्जा पारेषण प्रणाली का मार्ग प्रशस्त करेगी। विद्युत मंत्रालय ने मंगलवार को यह जानकारी दी।
मंत्रालय ने एक बयान में कहा कि देश में जल्द ही आधुनिक एवं स्मार्ट ऊर्जा पारेषण प्रणाली होगी। उसने बताया कि इसमें वास्तविक समय में निगरानी, ग्रिड का स्वचालित संचालन, स्थिति का बेहतर आकलन, ऊर्जा मिश्रण में नवीकरणीय क्षमता की हिस्सेदारी बढ़ाने की क्षमता, साइबर हमलों और प्राकृतिक आपदा से निपटने का जुझारूपन जैसे खूबियां हैं।
विद्युत मंत्रालय ने सितंबर 2021 में एक कार्यबल का गठन किया था, ये अनुशंसाएं उसी की रिपोर्ट का हिस्सा हैं। इस कार्यबल या विशेषज्ञ समिति का गठन पारेषण क्षेत्र के आधुनिकीकरण और इसे स्मार्ट एवं भविष्य के लिए तैयार करने की खातिर सुझाव देने के लिए किया गया था।
बयान में कहा गया कि समिति की रिपोर्ट को सरकार ने स्वीकार कर लिया है। इससे पहले, पिछले हफ्ते केंद्रीय ऊर्जा मंत्री आर. के. सिंह के साथ विचार-विमर्श किया गया था। सिंह ने बैठक में कहा था कि भरोसेमंद एवं किफायती ऊर्जा निरंतर प्रदान करने की सरकार की संकल्पना को साकार करने के लिए आधुनिक पारेषण ग्रिड बहुत जरूरी है।’’
सिंह ने कहा था कि पूरी तरह से स्वचालित, डिजिटल नियंत्रण वाली, त्वरित प्रतिक्रिया देने वाली ऐसी ग्रिड जो साइबर हमलों तथा प्राकृतिक आपदाओं के प्रति जुझारू हों, वक्त की जरूरत है।