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होम लोन नहीं ‘जी का जंजाल’ कहिए जनाब!

Last Updated- December 05, 2022 | 9:43 PM IST

आईरिन डिसूजा (बदला हुआ नाम) को एक ब्रोकर की मदद से 18 लाख रुपये के  होम लोन की स्वीकृति मिली।


यह लोन आईसीआईसीआई बैंक से मिलना था। हालांकि जब डिसूजा बैंक में चेक  लेने के लिए गईं, तो उनसे कहा गया कि उन्हें सिर्फ 9.53 लाख रुपये ही मिलेंगे। उन्होंने बकायदा बैंक में अपनी आय से संबंधित सभी दस्तावेजों को जमा कराया था। इसके बाद उन्होंने दूसरे बैंक का दरवाजा खटखटाया, जहां उन्हें 16 लाख रुपये की स्वीकृति मिली। लेकिन इसके लिए डिसूजा को ब्रोकर को गारंटर बनाने के लिए कहा गया।


होम लोन के लिए परेशानियों का सामना करने वाली डिसूजा इकलौती महिला नहीं हैं। बैंक के डॉयरेक्ट सेलिंग एजेंट्स (डीएसए) ने बताया कि कमोबेश देश के सभी बैंक होम लोन मंजूर करने के मामले में काफी सख्ती से पेश आते हैं। डीएसए के अध्यक्ष ने बताया, ”हमलोगों ने खासतौर से बैंकों को कहा है कि वे लोन राशि में कमी लाएं।”


यही वजह है कि बैंक लोन राशि में कमी लाने के लिए बहुतेरे उपायों को अपना रहे हैं। लोन राशि को कम करने की दिशा में अपनाए जाने वाले तरीकों में- परोक्ष रीति में लोन-टू-वैल्यू को कम करना भी शामिल है।


मसलन, अगर किसी घर की कीमत 20 लाख रुपये है, तो बैंक द्वारा अमूमन 80 से 85 फीसदी राशि ही मुहैया कराई जाती है, जोकि 18 लाख रुपये होगी। हालांकि अब अधिकांश बैंकों द्वारा घर की कीमत को काफी कम आंका जाता है। और यही वजह है कि लोन-टू-वैल्यू तो अपनी जगह पर स्थिर है, लेकिन बैंकों द्वारा लोन का वितरण कम कर दिया गया है।


उदाहरण के तौर पर मान लीजिए किसी घर की कीमत है 15 लाख रुपये लेकिन बैंक द्वारा अनुमोदित राशि 12 लाख रुपये ही होगी। इसका अर्थ यह हुआ कि अब बैंकों द्वारा 80 फीसदी की बजाए सिर्फ 60 फीसदी राशि ही मुहैया कराई जाएगी।


आईसीआईसीआई बैंक, रिटेल सेल्स के अध्यक्ष राजीव सब्बरवाल ने बताया, ”हमलोगों ने अपनी अतिरिक्त सुरक्षा के लिए लोन-टू-वैल्यू से संबंधित नीतियों में किसी तरह का बदलाव नहीं किया है, लेकिन कभी-कभी वास्तव में प्रोपर्टी की कीमत काफी नीचे चली जाती है।”
सब्बरवाल ने बताया कि किसी भी लोन को स्वीकृति देने से पहले हमारे अधिकारी संबंधित जमीन और उसकी वास्तविक कीमत की जांच-पड़ताल करते हैं।


सूत्रों का कहना है कि बैंक द्वारा भेजी जाने वाली कानूनी और तकनीकी टीम से आग्रह किया जाता है कि वे संबंधित जमीन की जांच-पड़ताल के दौरान सख्ती से पेश आएं।

First Published - April 16, 2008 | 11:07 PM IST

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