facebookmetapixel
Stock Split: अगले हफ्ते दो कंपनियां करेंगी स्टॉक स्प्लिट, छोटे निवेशकों के लिए बनेगा बड़ा मौकादेश में बनेगा ‘स्पेस इंटेलिजेंस’ का नया अध्याय, ULOOK को ₹19 करोड़ की फंडिंगस्पैम और स्कैम कॉल्स से राहत! CNAP फीचर से पता चलेगा कॉल करने वाला कौनमुंबई बना एशिया का सबसे खुशहाल शहर; बीजिंग, शंघाई और हॉन्ग कॉन्ग को छोड़ दिया पीछेBonus Stocks: अगले हफ्ते दो कंपनियां देंगी बोनस शेयर, जानिए कौन से निवेशक रहेंगे फायदे मेंसंसद का शीतकालीन सत्र 1 से 19 दिसंबर तक चलेगा, संसदीय कार्य मंत्री किरेन रिजिजू ने दी जानकारीUPI पेमेंट ट्रांजैक्शन पर ये बैंक दे रहा 7,500 रुपये तक कैशबैक, बस खोले ‘हैप्पी सेविंग्स’ अकाउंटVande Bharat: वाराणसी से बेंगलुरु तक सफर अब और तेज, PM Modi ने 4 नई ट्रेनों को दिखाई हरी झंडीQ2 Results on Nov 8: 113 कंपनियां आज जारी करेंगी दूसरे तिमाही के नतीजे, बजाज स्टील और BMW रहेंगे चर्चा मेंमोटापा या डायबिटीज? अब सेहत के कारण अमेरिका का वीजा हो सकता है रिजेक्ट

जून तक राज्यों का 17,176 करोड़ रुपये का GST मुआवजा था बाकी : सरकार

Last Updated- December 20, 2022 | 4:31 PM IST
GST

सरकार ने मंगलवार को संसद में कहा कि जून 2022 तक राज्यों का 17,176 करोड़ रुपये का जीएसटी (माल एवं सेवा कर) मुआवजा लंबित था। वित्त राज्य मंत्री पंकज चौधरी ने राज्यसभा में प्रश्नकाल के दौरान पूरक सवालों के जवाब में यह जानकारी दी।

उन्होंने कहा कि केंद्र पांच साल के लिए राज्यों को जीएसटी मुआवजा दे रहा है। उन्होंने कहा कि कोविड महामारी के दौरान जब कोई जीएसटी नहीं एकत्र किया गया था, केंद्र सरकार ने 2020-21 और 2021-22 के दौरान क्रमश: 1.1 लाख करोड़ रुपये और 1.59 लाख करोड़ रुपये का ऋण लेकर राज्यों को मुआवजा दिया था।

वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने एक अन्य सवाल के जवाब में कहा कि केंद्र ने कुछ हद तक जून तक के सारे बकाए का भुगतान कर दिया है और लगभग 17,000 करोड़ रुपये लंबित हैं। उन्होंने कहा कि जून 2022 तक तमिलनाडु का बकाया केवल 1200 करोड़ रुपये है।

उन्होंने कहा कि अगर किसी राज्य से उपयोगिता प्रमाण पत्र प्राप्त नहीं हुआ तो संबंधित राशि को लंबित नहीं माना जा सकता है। सीतारमण ने एक अन्य प्रश्न के उत्तर में कहा कि 2022-23 में शिक्षा क्षेत्र को एक लाख करोड़ रुपये से अधिक कोष प्राप्त हुआ है, और इस क्षेत्र को उच्च प्राथमिकता दी गई है।

उन्होंने कहा, ‘ वित्त आयोग ने स्थानीय निकायों को सीधे धन देने को कहा है। हमने वह दिया है। मुख्यमंत्री के रूप में अपने अनुभव को देखते हुए प्रधानमंत्री 14वें वित्त आयोग की रिपोर्ट पर आसानी से सहमत हुए। उसके तहत स्थानीय निकायों को सीधे पैसा दिया जा रहा है।’

उन्होंने कहा कि सभी उपकर एक विशेष मकसद के लिए एकत्र किए जा रहे हैं। वह विशेष मकसद स्पष्ट रूप से राज्यों के जरिए ही पूरा किया जा रहा है। निस्संदेह उपकर केंद्र द्वारा एकत्र किए जा रहे हैं लेकिन केंद्र उन्हें अपने पास नहीं रखता है और इसे केवल राज्यों के माध्यम से ही खर्च किया जाता है।

First Published - December 20, 2022 | 4:15 PM IST

संबंधित पोस्ट