facebookmetapixel
Stock Split: 1 शेयर बंट जाएगा 10 टुकड़ों में! इस स्मॉलकैप कंपनी ने किया स्टॉक स्प्लिट का ऐलान, रिकॉर्ड डेट जल्दवित्त मंत्री सीतारमण ने सभी राज्यों के वित्त मंत्रियों को लिखा पत्र, GST 2.0 के सपोर्ट के लिए दिया धन्यवादAdani Group की यह कंपनी करने जा रही है स्टॉक स्प्लिट, अब पांच हिस्सों में बंट जाएगा शेयर; चेक करें डिटेलCorporate Actions Next Week: मार्केट में निवेशकों के लिए बोनस, डिविडेंड और स्प्लिट से मुनाफे का सुनहरा मौकाEV और बैटरी सेक्टर में बड़ा दांव, Hinduja ग्रुप लगाएगा ₹7,500 करोड़; मिलेगी 1,000 नौकरियांGST 2.0 लागू होने से पहले Mahindra, Renault व TATA ने गाड़ियों के दाम घटाए, जानें SUV और कारें कितनी सस्ती हुईसिर्फ CIBIL स्कोर नहीं, इन वजहों से भी रिजेक्ट हो सकता है आपका लोनBonus Share: अगले हफ्ते मार्केट में बोनस शेयरों की बारिश, कई बड़ी कंपनियां निवेशकों को बांटेंगी शेयरटैक्सपेयर्स ध्यान दें! ITR फाइल करने की आखिरी तारीख नजदीक, इन बातों का रखें ध्यानDividend Stocks: सितंबर के दूसरे हफ्ते में बरसने वाला है मुनाफा, 100 से अधिक कंपनियां बांटेंगी डिविडेंड

देरी से चल रही हैं केंद्र सरकार की 46 प्रतिशत परियोजनाएं, MOSPI की रिपोर्ट ने बताई बड़ी वजह

पिछले साल नवंबर 2022 में 51.2 प्रतिशत परियोजनाएं देरी से चल रही थीं। वहीं 2019 में देरी से चलने वाली परियोजनाओं की संख्या 34 प्रतिशत थी।

Last Updated- December 31, 2023 | 9:25 PM IST
Economic Survey 2024: More facilities are needed for infrastructure, private sector investment is less than government Economic Survey 2024: इंफ्रास्ट्रक्चर के लिए ज्यादा सुविधाओं की दरकार, प्राइवेट सेक्टर से ज्यादा खर्च कर रही सरकार

केंद्र सरकार की परियोजनाओं में होने वाली देरी नवंबर में लगातार दूसरे महीने कम हुई है। सांख्यिकी एवं कार्यक्रम क्रियान्वय निदेशालय (मोस्पी) की नवंबर 2023 की रिपोर्ट के मुताबिक 845 परियोजनाएं देरी से चल रही हैं, जो कुल परियोजनाओं की 46.1 प्रतिशत हैं। मोस्पी के दायरे में 150 करोड़ रुपये या इससे ऊपर की परियोजनाएं आती हैं। सितंबर महीने में 47.8 प्रतिशत और अक्टूबर में 46.8 प्रतिशत परियोजनाएं देरी से चल रही थीं।

पिछले साल नवंबर 2022 में 51.2 प्रतिशत परियोजनाएं देरी से चल रही थीं। वहीं 2019 में देरी से चलने वाली परियोजनाओं की संख्या 34 प्रतिशत थी।

नवंबर में औसतन परियोजनाएं 36.6 माह देरी से चल रही हैं। देरी से चल रही 845 परियोजनाओं में 38 प्रतिशत 25 से 60 महीने देरी से चल रही हैं, जबकि 24 प्रतिशत 1 से 12 महीने तक देरी से चल रही हैं। 23 प्रतिशत परियोजनाएं 13 से 24 माह देरी से चल रही हैं और 14 प्रतिशत परियोजनाएं 60 माह से ज्यादा समय से देरी से चल रही हैं।

परियोजनाओं में देरी की बाहरी वजहें हैं। उधमपुर श्रीनगर बारामुला परियोजना को 1995 में मंजूरी मिली, जो वर्षों की देरी से चल रही है। रिपोर्ट के मुताबिक यह फरवरी 2024 में पूरी हो सकती है।

रिपोर्ट के मुताबिक भूमि अधिग्रहण, निविदा, वन और पर्यावरण मंजूरी हासिल करना और बुनियादी ढांचे का समर्थन न होना कुछ वजहें हैं, जिससे परियोजनाओं में देरी हो रही है। बहरहाल देरी के कारण अतिरिक्त खर्च की जरूरत कम हुई है। परियोजनाओं पर अनुमान से 17.5 प्रतिशत या 4.4 लाख करोड़ रुपये अतिरिक्त खर्च आने की संभावना है। नवंबर 2022 में यह 21.7 प्रतिशत था।

First Published - December 31, 2023 | 9:25 PM IST

संबंधित पोस्ट