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टीम इंडिया की जर्सी पर अब चमकेगा अपोलो टायर्स, ड्रीम11 की जगह बना नया स्पॉन्सर

ज्ञात हो कि ड्रीम11 ने सरकार के ऑनलाइन गेमिंग एक्ट के कारण करार छोड़ दिया था।

Last Updated- September 16, 2025 | 4:34 PM IST
Apollo Tyre

भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (BCCI) की टीम इंडिया के लिए नए लीड स्पॉन्सर की तलाश मंगलवार को खत्म हो गई। अब टीम इंडिया की जर्सी पर मशहूर टायर कंपनी अपोलो टायर्स (Apollo Tyres) का लोगो नजर आएगा। लीड स्पॉन्सर बनने के लिए कंपनियों के बीच कड़ा मुकाबला था। लेकिन गुरुग्राम स्थित टायर कंपनी ने बाजी मार ली। अपोलो ने 579 करोड़ रुपये की शानदार बोली लगाकर कैनवा (Canva) और जेके सीमेंट्स (JK Cements) को पीछे छोड़ दिया। ज्ञात हो कि ड्रीम11 (Dream 11) ने सरकार के ऑनलाइन गेमिंग एक्ट के कारण करार छोड़ दिया था। इसके बाद बीसीसीआई ने 2 सितंबर को नए स्पॉन्सर के लिए बोली मंगाई थी। ड्रीम11 के हटने के बाद एशिया कप (दुबई और अबू धाबी) में टीम इंडिया बिना जर्सी स्पॉन्सर के खेल रही है।

कैनवा और जेके सीमेंट्स भी थे रेस में

100 से ज्यादा देशों में कारोबार करने वाली अपोलो टायर्स ने कैनवा की 544 करोड़ रुपये और जेके सीमेंट्स की 477 करोड़ रुपये की बोली को पीछे छोड़ते हुए टीम इंडिया की नई लीड स्पॉन्सरशिप हासिल कर ली। तीन साल का यह करार 121 द्विपक्षीय मुकाबलों और 21 आईसीसी मैचों के लिए किया गया है। इस डील से अपोलो को दुनिया के सबसे बड़े खेल मंचों में से एक पर अपनी मौजूदगी दर्ज कराने का मौका मिलेगा।

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बीसीसीआई की इस नीलामी में जबरदस्त प्रतिस्पर्धा देखने को मिली। हालांकि, बिरला ओपस पेंट्स ने निवेश की इच्छा दिखाई थी, लेकिन उसने औपचारिक बोली प्रक्रिया में हिस्सा नहीं लिया। अपोलो की आक्रामक बोली से यह साफ हो गया कि ब्रांड्स भारतीय क्रिकेट से जुड़ने में कितनी बड़ी वैल्यू देखते हैं।

रिकॉर्ड तोड़ डील स्ट्रक्चर

यह समझौता औसतन प्रति मैच 4.77 करोड़ रुपये बैठता है। हालांकि हर मुकाबले के हिसाब से यह राशि अलग-अलग होगी। रिपोर्ट्स के मुताबिक, बीसीसीआई ने द्विपक्षीय मुकाबलों के लिए 3.5 करोड़ रुपये और आईसीसी टूर्नामेंट मैचों के लिए 1.5 करोड़ रुपये का बेस प्राइस तय किया था। ऐसे में अपोलो की विजयी बोली न्यूनतम सीमा से कहीं ज्यादा रही।

यह डील न केवल हालिया स्पॉन्सरशिप वैल्यूएशन को पीछे छोड़ती है, बल्कि यह भी दिखाती है कि भारत में क्रिकेट की आर्थिक ताकत लगातार बढ़ रही है, जहां प्रसारण और ब्रांडिंग राइट्स को वैश्विक स्तर पर बेमिसाल महत्व मिलता है।

First Published - September 16, 2025 | 3:43 PM IST

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