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Zepto ने तेज की IPO की तैयारी, ऑपरेशन को सरल बना रही कंपनी

ब्लिंकइट और स्विगी इंस्टामार्ट जैसी प्रतिस्पर्धियों को पीछे छोड़ते हुए जेप्टो का वित्त वर्ष 2024 में अपना परिचालन राजस्व 120 फीसदी बढ़कर 4,454 करोड़ रुपये हो गया था।

Last Updated- January 02, 2025 | 9:48 PM IST
Zepto's food business licence cancelled in Dharavi

क्विक कॉमर्स कंपनी जेप्टो इस साल आरंभिक सार्वजनिक निर्गम (आईपीओ) लाने की तैयारी में है और कंपनी ने इससे पहले अपने परिचालन को सरल बनाने की दिशा में एक नई इकाई जेप्टो मार्केटप्लेस प्राइवेट लिमिटेड की स्थापना की है। सूत्रों ने बिज़नेस स्टैंडर्ड को इस खबर की पुष्टि की है। कथित तौर पर जेप्टो मार्केटप्लेस प्राइवेट लिमिटेड पिछले साल 22 अक्टूबर को पंजीकृत कराई गई थी। हालांकि, मनीकंट्रोल ने सबसे पहले यह खबर दी थी। क्विक कॉमर्स यूनिकॉर्न फिलहाल बिजनेस टू बिजनेस (बीटूबी) मॉडल के तहत काम करती है।

आदित पलीचा और कैवल्य वोहरा द्वारा स्थापित की गई किरानाकार्ट टेक्नोलॉजिज सीधे ब्रांडों से उत्पाद लेती है और उन्हें गेडिट कन्वीनियंस, ड्रोघेरिया सेलर्स और कमोडम ग्रॉसरी जैसी कंपनियों के एक निश्चित समूह को बेचती है। जेप्टो की लाइसेंस वाली ये कंपनियां फिर एक लाइसेंसिंग समझौते के तहत ऐप्लिकेशन के जरिये उत्पादों की बिक्री करती है। मगर दूसरी ओर, ब्लिंकइट और स्विगी इंस्टामार्ट ने बाजार का नजरिया विकसित किया है।

हैंड्स ऑन ट्रेड और 90 मिनट्स रिटेल जैसी इकाइयां ब्लिंकइट की आपूर्ति श्रृंखला का अभिन्न हिस्सा हैं क्योंकि वे मध्यस्थ के तौर पर काम करती हैं, जो ब्रांडों से उत्पादों की खरीदारी करती है और फिर से उन्हें बीटूबी थोक विक्रेताओं को बेचती है। बदले में ये थोक विक्रेता ब्लिंकइट प्लेटफॉर्म पर सूचीबद्ध बीटूसी विक्रेताओं को उत्पाद देते हैं।

इसी तरह, स्विगी इंस्टामार्ट भी एक तुलनीय संरचना का उपयोग करती है। कंपनियां बीटूबी थोक विक्रेता की तरह काम करती है और डार्क स्टोर संचालकों को सामान की आपूर्ति करती है। उसके बाद ये विक्रेता प्लेटफॉर्म पर सूचीबद्ध बीटूसी विक्रेताओं को उत्पाद देते हैं।

साल 2024 की दूसरी छमाही में जेप्टो ने अपने आईपीओ के लिए गोल्डमैन सैक्स, मॉर्गन स्टैनली और ऐक्सिस कैपिटल जैसे निवेश बैंकों को अपना सलाहकार बनाया था। कंपनी इस साल की दूसरी छमाही में बाजार में दस्तक दे सकती है। जेप्टो की प्रतिस्पर्धी ब्लिंकइट (जोमैटो के स्वामित्व वाली कंपनी) और इंस्टामार्ट (स्विगी के स्वामित्व वाली कंपनी) पहले से ही सूचीबद्ध कंपनियां हैं।

ब्लिंकइट और स्विगी इंस्टामार्ट जैसी प्रतिस्पर्धियों को पीछे छोड़ते हुए जेप्टो का वित्त वर्ष 2024 में अपना परिचालन राजस्व 120 फीसदी बढ़कर 4,454 करोड़ रुपये हो गया था। वहीं, ब्लिंकइट का राजस्व 2,300 करोड़ रुपये और स्विगी इंस्टामार्ट का राजस्व 1,100 करोड़ रुपये ही था। मोतीलाल ओसवाल की रिपोर्ट के मुताबिक, क्विक कॉमर्स श्रेणी में ब्लिंकइट 46 फीसदी बाजार हिस्सेदारी के साथ शीर्ष पर है और जेप्टो की 29 फीसदी और स्विगी इंस्टामार्ट की बाजार हिस्सेदारी 25 फीसदी है।

आदित पलीचा और कैवल्य वोहरा द्वारा साल 2021 में स्थापित जेप्टो साल 2023 में भारत की पहली यूनिकॉर्न स्टार्टअप बन गई थी, जिसने 1.4 अरब डॉलर के मूल्यांकन पर 20 करोड़ डॉलर की रकम जुटाई थी।

First Published - January 2, 2025 | 9:48 PM IST

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