जापान की दूरसंचार क्षेत्र की प्रमुख कंपनी एनटीटी ग्रुप की 30 अरब डॉलर वाली आईटी सेवा शाखा एनटीटी डेटा अपनी विकास योजनाओं को बढ़ावा देने के लिए इस साल के अंत तक भारत में करीब 6,000 लोगों को नियुक्त करने की योजना बना रही है। इससे तकरीबन 40,000 लोगों के उसके मौजूदा प्रतिभा आधार में 10 से 15 प्रतिशत का इजाफा होगा। विश्व स्तर पर कंपनी के कर्मचारियों की संख्या करीब 1,90,000 है।
जापान के बाहर भारत एनटीटी डेटा का दूसरा सबसे बड़ा कर्मचारी केंद्र है और भारत सबसे तेजी से बढ़ने वाला बाजार भी है। पिछले साल कंपनी ने कहा था कि वह बढ़ते डेटा केंद्र कारोबार का लाभ उठाने के लिए अगले पांच साल के दौरान में भारत में करीब तीन अरब डॉलर का निवेश करेगी।
एनटीटी डेटा में ग्लोबल टैलेंट एक्विजिशन के वरिष्ठ निदेशक (मानव संसाधन) गजेंद्र मेनन ने कहा कि एनटीटी डेटा में हम उद्योगों और प्रौद्योगिकियों से हटकर अपने द्वारा प्रदान की जाने वाली सभी सेवाओं में कौशल संपन्न लोगों को काम पर रखते हैं।
मौजूदा मांग जेनरेटिव एआई, सुरक्षा और गोपनीयता पर केंद्रित है। इसके अलावा हम ऑटोमेशन, डेटा और एनालिटिक्स या डेटा एकीकरण पर भी विचार कर रहे हैं। डेवओप, यूआई/यूएक्स और सॉफ्टवेयर डेवलपमेंट भी ऐसे दूसरे कौशल क्षेत्र हैं, जहां हम नियुक्ति कर रहे हैं।
एनटीटी डेटा ने वित्त वर्ष 27 के अंत तक वैश्विक स्तर पर 15,000 साइबर सुरक्षा पेशेवरों को जोड़ने की भी योजना बनाई है। पिछले साल उसने ग्राहकों की सहायता करने के लिए वैश्विक स्तर पर एकीकृत साइबर सुरक्षा की नई रणनीति शुरू की थी। मेनन ने कहा ‘हमारी नई साइबर सुरक्षा रणनीति हमारे ग्राहकों को आज के जटिल खतरों के खिलाफ व्यापक सुरक्षा प्रदान करती है।’
कंपनी देश के मझोले और छोटे शहरों की प्रतिभा का लाभ उठाने पर भी विचार कर रही है। मेनन ने कहा ‘हम उद्योग और अकादमिक का अंतर पाटने और उद्योग के लिए युवा प्रतिभा तैयार करने के लिए अपने ब्रांड को मध्य और छोटे शहरों के 200 विभिन्न कॉलेजों में ले जा रहे हैं।’ मेनन ने कहा कि गैर-मेट्रो शहरों से लोगों की नियुक्ति करने की उनकी रणनीति में लागत के अलावा कई कारक शामिल हैं।