facebookmetapixel
Bihar Election 2025: दूसरे चरण में 3.7 करोड़ मतदाता 122 सीटों पर करेंगे 1,302 उम्मीदवारों की किस्मत का फैसलाBandhan MF ने उतारा नया हेल्थकेयर फंड, ₹100 की SIP से निवेश शुरू; किसे लगाना चाहिए पैसा?Explained: AQI 50 पर सांस लेने से आपके फेफड़ों और शरीर को कैसा महसूस होता है?अगर इंश्योरेंस क्लेम हो गया रिजेक्ट तो घबराएं नहीं! अब IRDAI का ‘बीमा भरोसा पोर्टल’ दिलाएगा समाधानइन 11 IPOs में Mutual Funds ने झोंके ₹8,752 करोड़; स्मॉल-कैप की ग्रोथ पोटेंशियल पर भरोसा बरकरारPM Kisan Yojana: e-KYC अपडेट न कराने पर रुक सकती है 21वीं किस्त, जानें कैसे करें चेक और सुधारDelhi Pollution: दिल्ली-एनसीआर में प्रदूषण ने पकड़ा जोर, अस्पतालों में सांस की बीमारियों के मरीजों की बाढ़CBDT ने ITR रिफंड में सुधार के लिए नए नियम जारी किए हैं, टैक्सपेयर्स के लिए इसका क्या मतलब है?जैश-ए-मोहम्मद से जुड़ा बड़ा जाल फरीदाबाद में धराशायी, 360 किलो RDX के साथ 5 लोग गिरफ्तारHaldiram’s की नजर इस अमेरिकी सैंडविच ब्रांड पर, Subway और Tim Hortons को टक्कर देने की तैयारी

कू की नजर भारत के बाद अंतरराष्ट्रीय बाजार पर

Last Updated- December 12, 2022 | 6:02 AM IST

फरवरी में वैश्विक प्रौद्योगिकी दिग्गज ट्वीटर की सरकार के साथ तकरार के बाद चर्चित होने वाले देश में विकसित माइक्रोब्लॉगिंग प्लेटफॉर्म कू के डाउनलोड 55 लाख तक पहुंच चुके हैं और अब इसकी नजर अगले 18 महीनों में 10 करोड़ उपयोगकर्ताओं पर है।
कंपनी के संस्थापकों के अनुसार 10 करोड़ उपयोगकर्ताओं का महत्त्वपूर्ण पड़ाव हासिल करने के बाद वे इस प्लेटफॉर्म से पैसा कमाना शुरू कर देंगे और इस ऐप को अन्य बाजारों में ले जाएंगे।
कू और वोकल के मुख्य कार्याधिकारी और सह-संस्थापक अप्रामेय राधाकृष्ण ने कहा ‘फिलहाल हमारा ध्यान पैसा कमाने पर नहीं है और उपयोगकर्ता आधार में एक निश्चित सीमा तक विस्तार करेंगे, जिसके बाद हम विज्ञापन, ब्रांडिंग और वर्चुअल उपहारों के जरिये धनार्जन पर ध्यान केंद्रित करेंगे।’
भारतीय बाजार में पैठ के बाद राधाकृष्ण इस ऐप को इंडोनेशिया, मलेशिया और फिलीपींस जैसे देशों में ले जाना चाहते हैं। राधाकृष्ण का मानना है कि अक्सर ट्विटर के भारत के विकल्प के रूप में कहा जाने वाला कू किसी प्रतिस्पद्धी के बजाय ट्विटर के साथ सह-अस्तित्व में रहेगा। कू का उद्देश्य भारतीय भाषा पर अपना ध्यान केंद्रित करने के साथ भारतीय बाजार में गहराई तक जाना है। वर्तमान में कूल कन्नड़, तमिल, तेलुगु और मराठी जैसी आठ भारतीय भाषाओं में उपलब्ध है और अगले एक वर्ष के दौरान एक दर्जन से अधिक अन्य भाषाओं में भी शुरुआत करेगा।
राधाकृष्ण ने कहा कि मुझे लगता है कि ट्विटर विभिन्न देशों में अंग्रेजी बोलने वाले लोगों के साथ जुड़ेगा। ये दो अलग-अलग बाजार हैं, इसलिए दोनों ही प्लेटफॉर्म साथ रह सकते है।
कंपनी के विस्तार के लिए अधिक धन जुटाने की खातिर कू कई निवेशकों के साथ भी बातचीत कर रही है। मीडिया में ऐसी खबरें आई हैं कि कू के संस्थापक लगभग तीन करोड़ डॉलर जुटाने के लिए निजी इक्विटी कंपनी टाइगर ग्लोबल के साथ बातचीत कर रहे हैं।

First Published - April 12, 2021 | 12:16 AM IST

संबंधित पोस्ट