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Gokaldas Exports ने यूरोप और अफ्रीका के बाजारों पर बढ़ाया फोकस, अमेरिकी टैरिफ से बचने की रणनीति

गोकलदास को आशंका है कि तिमाही आधार पर उसका प्रमुख लाभ मार्जिन वित्त वर्ष 26 की पहली तिमाही के लगभग 12 प्रतिशत की तुलना में घटकर एक अंक में रह जाएगा

Last Updated- September 18, 2025 | 9:55 PM IST
Textile Industry
प्रतीकात्मक तस्वीर | फाइल फोटो

कपड़ा विनिर्माता कंपनी गोकलदास एक्सपोर्ट्स यूरोपीय संघ और ब्रिटेन को निर्यात तथा अफ्रीका में उत्पादन बढ़ाने की योजना बना रही है। अमेरिका के टैरिफ से मुनाफा कम होने का जोखिम है। कंपनी के शीर्ष अधिकारी ने यह जानकारी दी। गोकलदास एकल आधार पर अपनी लगभग 75 प्रतिशत बिक्री अमेरिका में करती है। उसके ग्राहकों में वॉलमार्ट, गैप तथा जेसीपेनी शामिल हैं। गोकलदास को आशंका है कि तिमाही आधार पर उसका प्रमुख लाभ मार्जिन वित्त वर्ष 26 की पहली तिमाही के लगभग 12 प्रतिशत की तुलना में घटकर एक अंक में रह जाएगा।

यह कपड़ा विनिर्माता सालाना लगभग 9 करोड़ परिधानों का उत्पादन करती है। वित्त वर्ष 25 में उसके 38.64 अरब रुपये के परिचालन राजस्व में बड़ी हिस्सेदारी अमेरिका, कनाडा, ब्रिटेन और फ्रांस को किए जाने वाले निर्यात की रही। गोकलदास के प्रबंध निदेशक शिवरामकृष्णन गणपति ने रॉयटर्स को बताया, ‘अगर 50 प्रतिशत का यह जवाबी टैरिफ लंबे समय तक जारी रहता है तो अमेरिका के साथ कारोबार करना मुश्किल हो जाएगा। यह टैरिफ बड़ी बाधा के तौर पर काम करेगा।’ गोकलदास ग्राहक संबंध बनाए रखने के लिए छूट की पेशकश कर रही है और अमेरिकी टैरिफ से जुड़ी कुछ लागत वहन कर रही है। 

First Published - September 18, 2025 | 9:55 PM IST

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