नकदी संकट से जूझ रही विमानन कंपनी किंगफिशर एयरलाइंस के प्रवर्तक विजय माल्या ने आज कहा कि कई लोगों ने कंपनी में निवेश की इच्छा जाहिर की है।
यहां राजस्व सचिव आर.एस. गुजराल के साथ मुलाकात के बाद माल्या ने संवाददाताओं को बताया कि हालांकि काफी कुछ इस बात पर निर्भर करेगा कि सरकार विदेशी विमानन कंपनियों को घरेलू विमानन कंपनियों में हिस्सेदारी खरीदने की अनुमति देने पर क्या रुख अपनाती है।
भारत की प्रत्यक्ष विदेशी निवेश :एफडीआई: नीति विदेशी निवेशकों को घरेलू विमानन कंपनियों में 49 प्रतिशत हिस्सेदारी खरीदने की अनुमति देती है, लेकिन विदेशी विमानन कंपनियों को घरेलू विमानन कंपनियों में हिस्सेदारी खरीदने की अनुमति नहीं है।
बेंगलूर में इस सप्ताह की शुरुआत में नागर विमानन मंत्री अजित सिंह ने कहा था कि सरकार विदेशी विमानन कंपनियों को घरेलू विमानन कंपनियों में निवेश करने की अनुमति देने के प्रस्ताव पर विचार कर रही है।
किंगफिशर एयरलाइंस पर 7,500 करोड़ रुपये का ण है और नकदी संकट के चलते वह कर भुगतान करने में कई बार चूक कर चुकी है। राजस्व विभाग कंपनी के खिलाफ कानूनी कार्रवाई करने पर विचार कर रहा है।
माल्या ने कहा, मैं लोगों से बात करता रहा हूं... कई लोग इच्छुक है। उन्होंने किंगफिशर एयरलाइंस में निवेश की इच्छा जताई है, लेकिन यह सरकार की नीतियों पर निर्भर करेगा। हम इंतजार कर रहे हैं और देख रहे हैं।
हालांकि, उन्हौंने कहा कि वह कराधान मुद्दों पर चर्चा करने के लिए वित्त मंत्रालय नहीं आए हैं।
भाषा