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Home Loan पर राहत! Repo Rate घटने के बाद कितनी घटेगी EMI? 20 साल के लिए ₹50 लाख लोन पर देखें कैलकुलेशन

RBI MPC Meet: उम्मीद के मुताबिक, केंद्रीय बैंक ने रीपो रेट (Repo Rate) में 0.25% की कटौती करने का ऐलान किया।

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अंशु   
Last Updated- April 09, 2025 | 10:59 AM IST

Home Loan EMI Calculation: भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने बुधवार (9 अप्रैल) को वित्त वर्ष 2025-26 की पहली मॉनेटरी पॉलिसी कमेटी (MPC) की बैठक में रीपो रेट (Repo Rate) में 25 bps की कटौती करने का ऐलान किया। रीपो रेट में कटौती के बाद होम लोन (Home Loan), कार लोन (Car Loan), पर्सनल लोन (Personal Loan) की ईएमआई (EMI) कम होना तय माना जा रहा है। आइए Home Loan EMI Calculator से जानते हैं कि अगर आपने 20 साल के लिए ₹50 लाख का लोन लिया है, तो आपकी ब्याज दरें घटने के बाद आपके लोन की EMI कितनी कम हो जाएगी।

EMI का समझें कैलकुलेशन

मौजूदा EMI

लोन अमाउंट: 50 लाख रुपये
लोन टेन्योर: 20 साल
ब्याज दर: 8.25% सालाना
EMI: 42,603 रुपये
कुल टेन्योर में ब्याज: 5,224,788 रुपये
कुल पेमेंट: 10,224,788 रुपये

ब्याज दरें घटने के बाद संभावित EMI

लोन अमाउंट: 50 लाख रुपये
लोन टेन्योर: 20 साल
ब्याज दर: 8.0 % सालाना (0.25 फीसदी घटने के बाद रेट)
EMI: 41,822 रुपये
कुल टेन्योर में ब्याज: 5,037,281 रुपये
कुल पेमेंट: 1,00,37,281 रुपये

(नोट: यह कैलकुलेशन SBI होम लोन EMI कैलकुलेटर पर आधारित है।)

EMI, ब्याज में कितना फायदा?

होम लोन EMI कैलकुलेशन से साफ है कि ब्याज दरों में 0.25 फीसदी कटौती होने से आपकी EMI 781 रुपये कम हो जाएगी। वहीं, अब अगर आपके होम लोन की ब्याज दरें अगले 20 साल तक स्थिर रहती हैं, तो आपको पूरे टेन्योर में अब 187,507 रुपये कम ब्याज चुकाना होगा।

शेयर बाजार में जारी उतार-चढ़ाव, अमेरिकी राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप (Donald Trump) द्वारा लगाए गए ‘रिसिप्रोकल टैरिफ’ और वैश्विक स्तर पर छाए अनिश्चितता के बादलों के बीच हुई यह बैठक बहुत अहम है।

एक्‍सटर्नल बेंचमार्क से लिंक्ड है नए होम लोन

RBI के नियमों के मुताबिक, अब बैंकों के होम लोन मार्जिनल कॉस्ट लेंडिंग रेट (MCLR) और रीपो लिंक्ड लेंडिंग रेट (RLLR) से जुड़े होते हैं। 2019 में केंद्रीय बैंक ने सभी बैंकों को निर्देश दिया था कि वे नए होम लोन को एक्सटर्नल बेंचमार्क से लिंक करें, क्योंकि बैंक रीपो रेट में कटौती का पूरा फायदा ग्राहकों तक नहीं पहुंचा रहे थे।

इसके अलावा, केंद्रीय बैंक ने बैंकों को सभी प्रकार के रिटेल और पर्सनल लोन को भी किसी एक्सटर्नल बेंचमार्क से लिंक करने का निर्देश दिया था। इसके लिए बैंकों को RBI के रीपो रेट, 3 या 6 महीने के सरकारी ट्रेजरी बिल के रेट, या फाइनेंशियल बेंचमार्क्स इंडिया प्राइवेट लिमिटेड (FBIL) द्वारा पब्लिश किए गए किसी अन्य बेंचमार्क मार्केट इंटरेस्ट रेट का विकल्प दिया गया था। पुराने लोन लेने वालों को अपना लोन बेंचमार्क लिंक्ड रेट पर ट्रांसफर कराने या पुरानी व्यवस्था में बने रहने का विकल्प दिया गया है।

First Published : April 9, 2025 | 10:23 AM IST