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Google Pay से ले रहे हैं लोन? जानें इसके फायदे, नुकसान और सावधानियां; नहीं तो पड़ सकता है जेब पर भारी

Google Pay से अब पर्सनल लोन लेना आसान है। लेकिन पहले इसके ब्याज दर, शुल्क, शर्तें और इससे जुड़ी जरूरी जानकारी का पता होना चाहिए, ताकि बाद में कोई नुकसान न उठाना पड़े।

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ऋषभ राज   
Last Updated- July 08, 2025 | 9:01 PM IST

डिजिटल पेमेंट के इस दौर में गूगल पे (Google Pay) जैसे ऐप्स ने न केवल पैसे भेजने और बिल भरने का तरीका आसान किया है, बल्कि अब ये पर्सनल लोन जैसी दूसरी सेवाएं भी दे रहे हैं। Google Pay के जरिए पर्सनल लोन लेना कई लोगों के लिए सुविधाजनक विकल्प बन रहा है, लेकिन इसके फायदे और नुकसान दोनों हैं। इसके अलावा, कुछ छिपी हुई लागत भी हो सकती हैं, जिन्हें समझना जरूरी है। यहां हम Google Pay के जरिए पर्सनल लोन लेने के अलग-अलग पहलुओं को आसान भाषा में समझने की कोशिश करेंगे, ताकि सही समय पर जरूरत के हिसाब से सही फैसला लिया जा सकें।

लोन लेने की प्रक्रिया और सुविधा Google Pay के जरिए पर्सनल लोन लेना बेहद आसान है। यह ऐप कई बैंकों और वित्तीय संस्थानों के साथ साझेदारी करता है, जैसे कि HDFC बैंक, ICICI बैंक और अन्य NBFC (गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनियां)। यूजर को Google Pay ऐप पर लोन सेक्शन में जाकर अपनी जरूरत के हिसाब से लोन राशि और अवधि चुननी होती है। आमतौर पर, लोन की मंजूरी कुछ ही मिनटों में मिल जाती है, बशर्ते आपका क्रेडिट स्कोर अच्छा हो और डॉक्यूमेंट्स पूरे हों। अभी Google Pay 10,000 रुपये से लेकर 8 लाख रुपये तक के पर्सनल लोन ऑफर करता है, जिसकी ब्याज दरें 10.99% से शुरू होकर 36% तक जा सकती हैं। यह प्रक्रिया पूरी तरह डिजिटल है, यानी आपको बैंक की शाखा में जाने की जरूरत नहीं पड़ती। साथ ही, लोन की राशि सीधे आपके बैंक खाते में ट्रांसफर हो जाती है, जो इसे तेज और सुविधाजनक बनाता है।

नुकसान और जोखिम

हालांकि Google Pay के जरिए लोन लेना आसान है, लेकिन इसके कुछ नुकसान भी हैं। सबसे बड़ा जोखिम है ऊंची ब्याज दरें। न्यूज वेबसाइट मनीकंट्रोल की एक रिपोर्ट के मुताबिक, कई NBFC जो Google Pay के साथ साझेदारी करते हैं, वे अन्य बैंकों की तुलना में ज्यादा ब्याज वसूलते हैं, खासकर अगर आपका क्रेडिट स्कोर कम है। इसके अलावा, लोन की अवधि छोटी होने पर मासिक किस्त (EMI) ज्यादा हो सकती है, जो आपके मासिक बजट पर दबाव डाल सकती है।

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एक और बात ध्यान देने वाली है कि Google Pay खुद लोन नहीं देता, बल्कि वह एक प्लेटफॉर्म है जो आपको लेंडर्स से जोड़ता है। इसलिए, लोन के नियम और शर्तें उस वित्तीय संस्थान पर निर्भर करती हैं, जिसके साथ आप लोन ले रहे हैं। अगर आप नियम और शर्तें ठीक से नहीं पढ़ते, तो बाद में परेशानी हो सकती है।

छिपी हुई लागत और सावधानियां

Google Pay के जरिए लोन लेते समय कुछ छिपी लागतें भी हो सकती हैं, जिन्हें अक्सर लोग अनदेखा कर देते हैं। टाइम्स ऑफ इंडिया की एक रिपोर्ट के अनुसार, कई लोन ऑफर में प्रोसेसिंग फीस, समय से पहले भुगतान का शुल्क (प्री-पेमेंट चार्ज), और देर से भुगतान की पेनल्टी शामिल हो सकती है। प्रोसेसिंग फीस लोन राशि का 1-3% तक हो सकती है, जिसे लोन स्वीकृत होने से पहले काट लिया जाता है। यदि आप लोन को समय से पहले चुकाना चाहते हैं, तो कुछ लेंडर्स अतिरिक्त शुल्क वसूल सकते हैं। इसके अलावा, देर से भुगतान करने पर भारी पेनल्टी लग सकती है, जो आपकी कुल लागत को बढ़ा सकती है। इसलिए, लोन लेने से पहले सभी शर्तों को ध्यान से पढ़ना और समझना जरूरी है ताकि बाद में कोई आश्चर्य न हो।

First Published : July 8, 2025 | 9:01 PM IST