Anil Ambani on SEBI ban: रिलांयस एडीएजी समूह के चेयरमैन अनिल अंबानी सेबी की कार्रवाई के बाद कानूनी विकल्पों की समीक्षा कर रहे हैं। बाजार नियामक ने उनको शेयर बाजार से प्रतिबंधित करते हुए उन पर 25 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया है। अनिल अंबानी पर यह कार्रवाई रिलायंस होम फाइनैंस (रिलायंस कैपिटल की पूर्व सहायक) से रकम की कथित हेराफेरी के मामले में हुई है।
एक बयान में अंबानी के प्रवक्ता ने कहा कि रिलायंस होम फाइनैंस के मामले में सेबी के 11 फरवरी, 2022 के अंतरिम आदेश के बाद उन्होंने रिलायंस इन्फ्रास्ट्रक्चर और रिलायंस पावर के निदेशक मंडल से इस्तीफा दे दिया था और पिछले ढाई साल से उस अंतरिम आदेश का अनुपालन कर रहे हैं। बयान के अनुसार अंबानी इस मामले में 22 अगस्त को जारी अंतिम आदेश की समीक्षा कर रहे हैं और कानूनी सलाह के मुताबिक उचित कदम उठाएंगे।
एक अलग बयान में रिलायंस इन्फ्रास्ट्रक्चर ने कहा कि कंपनी सेबी की इस कार्यवाही में नोटिस पाने वाली या पक्षकार नहीं थी। बयान के अनुसार रिलायंस इन्फ्रास्ट्रक्चर के खिलाफ कोई निर्देश नहीं दिया गया है। इस कार्यवाही के तहत 11 फरवरी, 2022 को जारी अंतरिम आदेश के बाद अनिल अंबानी ने आर इन्फ्रा के निदेशक मंडल से इस्तीफा दे दिया था। इसलिए सेबी के 22 अगस्त के आदेश से आर इन्फ्रा के कारोबार और गतिविधियों पर कोई प्रभाव नहीं पड़ा है।
ऐसे ही एक बयान में रिलायंस पावर ने कहा कि जिस मामले में सेबी ने आदेश पारित किया है, उसमें उसे न तो नोटिस मिला था और न ही वह पक्षकार थी। रिलायंस पावर के खिलाफ कोई निर्देश नहीं दिया गया है। 11 फरवरी, 2022 के अंतरिम आदेश के बाद अनिल अंबानी ने रिलायंस पावर के निदेशक मंडल से इस्तीफा दे दिया था। इसलिए 22 अगस्त को जारी सेबी के आदेश का कंपनी के कारोबार व गतिविधियों पर कोई असर नहीं पड़ा है।
22 अगस्त को बाजार नियामक सेबी ने रिलायंस होम फाइनैंस (RHFL) से कथित तौर पर धन की हेराफेरी के आरोप में अनिल अंबानी, उनके समूह की फर्मों और उनके पूर्व निदेशकों समेत 27 इकाइयों और व्यक्तियों पर 624 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया है।
22 अगस्त को बाजार नियामक ने अनिल अंबानी और अन्य को शेयर बाजार से भी पांच साल के लिए प्रतिबंधित कर दिया है। उनको किसी भी सूचीबद्ध फर्म में अहम पदों पर रहने से भी प्रतिबंधित कर दिया गया है। अंबानी पर 25 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया।