एसऐंडपी ग्लोबल मार्केट इंटेलिजेंस ने अपनी एक ताजा रिपोर्ट में कहा है कि एयूएम के लिहाज से दुनिया के सबसे बड़े गोल्ड ईटीएफ जीडीएक्स, वेनेक वेक्टर्स गोल्ड माइनर्स ईटीएफ (13.26 अरब डॉलर) और जीएलडी, एसपीडीआर गोल्ड ट्रस्ट ईटीएफ (61.71 अरब डॉलर) ने इस कैलेंडर वर्ष में अब तक 3.946 अरब डॉलर की शुद्ध निकासी दर्ज की है।
रिपोर्ट में कहा गया है कि इन दोनों फंडों ने जनवरी से अब तक के पांच महीनों में से दो के दौरान ही सकारात्मक प्रवाह दर्ज किया। एसऐंडपी ग्लोबल मार्केट इंटेलिजेंस की रिपोर्ट में कहा गया है, ‘सोने में ईटीएफ निवेश का दायरा बढ़ने के बाद कई फंडों में इसी प्रकार का रुझान देखा गया है और वर्ष की शुरुआत से ही बड़े पैमाने पर निकासी हुई है। 6 फंडों में शुद्ध प्रवाह 2024 के शुरू से मई 2024 तक 4.96 अरब डॉलर रहा।’
दूसरी तरफ, पिछले कुछ महीनों से केंद्रीय बैंकों की मजबूत मांग के बीच सोने की कीमतें चढ़ रही हैं। एसऐंडपी ग्लोबल मार्केट इंटेलीजेंस के अनुसार मांग में इस तेजी को मुख्य तौर पर भूराजनीतिक घटनाक्रम और कई देशों में मुद्रास्फीति रुझानों को लेकर बढ़ रही अनिश्चितता की वजह से बढ़ावा मिला है। परिणामस्वरूप, सोने की कीमतों में इस साल अब तक लगभग 13 प्रतिशत की वृद्धि देखी गई है।
रिपोर्ट में कहा गया है, ‘चूंकि केंद्रीय बैंक ब्याज दर उतार-चढ़ाव के दौर में प्रवेश कर रहे हैं, इसलिए निवेशक मुद्रा बाजारों में भी अस्थिरता बढ़ने की उम्मीद कर सकते हैं। ब्याज दरों में उतार-चढ़ाव की बात करें तो पता चलता है कि मुद्राओं में तेजी आए या गिरावट, सोने का जोखिम के खिलाफ सुरक्षा के लिए उपयोग किया जाता है।’
भंडार में वृद्धि
विश्व स्वर्ण परिषद (डब्ल्यूजीसी) की रिपोर्ट के अनुसार वैश्विक रूप से सोने के लिए केंद्रीय बैंकों की शुद्ध मांग जनवरी-मार्च 2024 की तिमाही में 290 टन पर पहुंच गई जो पिछली अवधि के 286.2 टन की तुलना में 1 प्रतिशत तक अधिक है। परिषद का कहना है कि यह किसी कैलेंडर वर्ष में सबसे मजबूत शुरुआत थी।
मार्च तिमाही में केंद्रीय बैंकों की सोने की खरीद 171 टन के पांच वर्षीय तिमाही औसत की तुलना में 69 प्रतिशत अधिक थी। डब्ल्यूजीसी ने कहा है, ‘खरीदारी व्यापक रही, जिसमें चीन, तुर्की और भारत सबसे आगे रहे। मजबूत शुरुआत हमारे इस दृष्टिकोण को पुष्ट करती है कि 2024 में केंद्रीय बैंकों की मांग मजबूत बनी रहेगी।’
इस बीच, सोने की कीमतें पिछले एक साल में तेजी से चढ़ी हैं। 31 मई 2023 को कीमतें 1,943 डॉलर प्रति औंस पर थीं जो अब बढ़कर 2,343 डॉलर पर पहुंच गई हैं जो अपने हाल के ऊंचे स्तर 2,427 डॉलर से कुछ ही कम है।