facebookmetapixel
चार्ट्स दे रहे ब्रेकआउट सिग्नल! ये 5 Midcap Stocks बना सकते हैं 22% तक का प्रॉफिट₹60 के स्मॉलकैप Metal Stock पर मिल सकता है 80% रिटर्न, ब्रोकरेज बोले – खरीदों; एंट्री का सही वक्तरूस से तेल सप्लाई रुकी तो क्या फिर बढ़ेंगे दाम? एक्सपर्ट बता रहे क्या होगा आगेHAL Q2FY26 results: पीएसयू डिफेंस कंपनी का मुनाफा 10% बढ़कर ₹1,669 करोड़, रेवेन्यू भी 11% बढ़ाAshok Leyland ने Q2 में किया धमाका! ₹9,588 करोड़ का रेवेन्यू, डिविडेंड का दिया तोहफाGemini AI विवाद में घिरा गूगल! यूजर्स की प्राइवेसी लीक करने के आरोपPM Kisan Scheme: कब तक आएगी पीएम किसान की 21वीं किस्त? जानें क्यों हो रही देरीAI शेयरों की कीमतें आसमान पर, अब निवेशकों के लिए भारत बन रहा है ‘सेफ हेवन’! जानिए वजहDelhi Pollution: दिल्ली बनी गैस चेंबर! AQI 425 पार, कंपनियों ने कहा – ‘घर से ही काम करो!’Tata का Power Stock देगा मोटा मुनाफा! मोतीलाल ओसवाल का BUY रेटिंग के साथ ₹500 का टारगेट

Earthquake Today: म्यांमार में 7.7 तीव्रता का तगड़ा भूकंप, बैंकॉक में भी तगड़ा झटका, दिल्ली-NCR तक महसूस हुआ असर

राष्ट्रीय भूकंप विज्ञान केंद्र (NCS) के अनुसार, भूकंप शुक्रवार को सुबह 11:50 बजे आया और इसकी गहराई 10 किमी थी।

Last Updated- March 28, 2025 | 2:32 PM IST
Russia Earthquake today
Representative image

Earthquake Today: म्यांमार में शुक्रवार को 7.7 तीव्रता का भूकंप आया, जिसके झटके दिल्ली-एनसीआर में भी महसूस किए गए।  भूकंप के तेज झटके न सिर्फ म्यांमार में, बल्कि पड़ोसी देशों थाईलैंड और वियतनाम में भी महसूस किए गए।

स्थानीय समयानुसार यह भूकंप गहराई में आया, जिससे व्यापक क्षेत्र में इसके प्रभाव का अनुभव हुआ। अब तक किसी बड़े नुकसान या जान-माल की हानि की आधिकारिक पुष्टि नहीं हुई है, लेकिन प्रशासन स्थिति पर नजर बनाए हुए है।

भूकंप के झटकों के बाद लोगों में दहशत का माहौल देखा गया। कई जगहों पर लोग इमारतों से बाहर निकल आए। आपात सेवाओं को अलर्ट पर रखा गया है और प्रभावित इलाकों में राहत और बचाव कार्य की तैयारियां की जा रही हैं।

भूकंप इतना शक्तिशाली था कि राजधानी नैपीडॉ समेत मंडाले और आसपास के क्षेत्रों में कई इमारतें ढह गईं। मंडाले स्थित ऐतिहासिक एवा ब्रिज भी भूकंप के झटकों को सह नहीं पाया और इरावदी नदी में समा गया।

NCS ने X पर पोस्ट करते हुए लिखा, “भूकंप की तीव्रता: 7.2, तिथि: 28/03/2025, समय: 11:50:52 IST, अक्षांश: 21.93 N, देशांतर: 96.07 E, गहराई: 10 किमी, स्थान: म्यांमार।”

म्यांमार के सागाइंग शहर से 16 किलोमीटर उत्तर-पश्चिम में शुक्रवार को दोपहर भूकंप के तेज झटके महसूस किए गए। अमेरिकी भूगर्भीय सर्वेक्षण (USGS) के मुताबिक, भूकंप की तीव्रता ज़मीन से 10 किलोमीटर गहराई में दर्ज की गई और यह स्थानीय समयानुसार दोपहर 12:50 बजे (0620 GMT) आया।

थाईलैंड की राजधानी बैंकॉक में शुक्रवार दोपहर जोरदार भूकंप के झटके महसूस किए गए। अमेरिकी जियोलॉजिकल सर्वे (USGS) और जर्मनी के GFZ सेंटर फॉर जियोसाइंसेज के अनुसार, भूकंप का केंद्र पड़ोसी देश म्यांमार में था और यह सतह से महज 10 किलोमीटर की गहराई में आया। यह जानकारी प्रारंभिक आंकड़ों के आधार पर दी गई है।

चीन की सरकारी भूकंप एजेंसी ने भी इस भूकंप की पुष्टि की है। एजेंसी के मुताबिक, भूकंप की तीव्रता 7.9 मैग्नीट्यूड मापी गई और इसके झटके दक्षिण-पश्चिमी युन्नान प्रांत तक महसूस किए गए।

दोपहर करीब 1:30 बजे जब यह भूकंप आया, उस वक्त बैंकॉक के कई ऊंचे इमारतों और होटलों में अलार्म बजने लगे। घबराए लोग सीढ़ियों से बाहर निकलकर सड़कों पर आ गए। कई लोग धूप से बचने के लिए इमारतों की छांव में खड़े दिखे।

झटकों की तीव्रता इतनी थी कि बैंकॉक में एक निर्माणाधीन इमारत ढह गई। हालांकि, अभी तक जान-माल के नुकसान की आधिकारिक पुष्टि नहीं हुई है।

 सोशल मीडिया पर साझा किए गए वीडियो और तस्वीरों में देखा गया कि जैसे ही भूकंप आया, कई इमारतें तेजी से हिलने लगीं। लोग घबराकर इमारतों से बाहर निकलते नजर आए।

अधिकारियों के मुताबिक, झटकों की तीव्रता इतनी अधिक थी कि ऊंची इमारतों में काम कर रहे लोग तुरंत सतर्क हो गए और बाहर निकलने लगे। भूकंप का केंद्र भले ही थाईलैंड से दूर रहा हो, लेकिन इसकी गूंज वहां भी साफ महसूस की गई।

म्यांमार में अक्सर आते हैं भूकंप

म्यांमार एक ऐसा देश है जहां भूकंप आना आम बात है। अमेरिकी भूगर्भीय सर्वेक्षण (USGS) के अनुसार, 1930 से 1956 के बीच देश के मध्य हिस्से से होकर गुजरने वाले सागाइंग फॉल्ट के पास 7.0 या उससे अधिक तीव्रता के छह बड़े भूकंप दर्ज किए गए थे।

साल 2016 में म्यांमार की ऐतिहासिक राजधानी बागान में 6.8 तीव्रता का शक्तिशाली भूकंप आया था। इस हादसे में तीन लोगों की जान चली गई थी, जबकि पर्यटक स्थल पर मौजूद कई प्राचीन मंदिरों की मीनारें ढह गई थीं और दीवारों में दरारें आ गई थीं।

गौरतलब है कि यह दक्षिण-पूर्व एशियाई देश आर्थिक रूप से पिछड़ा हुआ है और यहां का स्वास्थ्य तंत्र, खासतौर पर ग्रामीण इलाकों में, बेहद कमजोर है।

First Published - March 28, 2025 | 12:40 PM IST

संबंधित पोस्ट