facebookmetapixel
नवंबर में भारत से आईफोन का निर्यात 2 अरब डॉलर तक पहुंचा, बना नया रिकार्डएवेरा कैब्स ने 4,000 ब्लू स्मार्ट इलेक्ट्रिक कारें अपने बेड़े में शामिल करने की बनाई योजनाGST बढ़ने के बावजूद भारत में 350 CC से अधिक की प्रीमियम मोटरसाइकल की बढ़ी बिक्रीJPMorgan 30,000 कर्मचारियों के लिए भारत में बनाएगा एशिया का सबसे बड़ा ग्लोबल कैपेसिटी सेंटरIPL Auction 2026: कैमरन ग्रीन बने सबसे महंगे विदेशी खिलाड़ी, KKR ने 25.20 करोड़ रुपये में खरीदानिजी खदानों से कोयला बिक्री पर 50% सीमा हटाने का प्रस्ताव, पुराने स्टॉक को मिलेगा खुला बाजारदूरदराज के हर क्षेत्र को सैटकॉम से जोड़ने का लक्ष्य, वंचित इलाकों तक पहुंचेगी सुविधा: सिंधियारिकॉर्ड निचले स्तर पर रुपया: डॉलर के मुकाबले 91 के पार फिसली भारतीय मुद्रा, निवेशक सतर्कअमेरिका से दूरी का असर: भारत से चीन को होने वाले निर्यात में जबरदस्त तेजी, नवंबर में 90% की हुई बढ़ोतरीICICI Prudential AMC IPO: 39 गुना मिला सब्सक्रिप्शन, निवेशकों ने दिखाया जबरदस्त भरोसा

डिज्नीलैंड की तर्ज पर अयोध्या में बनाया जाएगा ‘रामलैंड’

Last Updated- May 08, 2023 | 11:45 PM IST
Ram temple
BS

डिज्नीलैंड (Disneyland) की बात तो खूब सुनी होगी, अब ‘रामलैंड’ देखने और घूमने के लिए तैयार हो जाइए। अयोध्या (Ayodhya) को विश्व स्तर का पर्यटन स्थल बनाने के लिए उत्तर प्रदेश सरकार थीम पार्क बनाने की योजना तैयार कर रही है। डिज्नीलैंड की तर्ज पर बनने वाले इस थीम पार्क ‘रामलैंड’ में श्रद्धालु और पर्यटक भगवान राम के जीवन पर आधारित झांकियों का दर्शन कर सकेंगे।

पर्यटन और संस्कृति विभाग के प्रमुख सचिव मुकेश मेश्राम ने बिज़नेस स्टैंडर्ड से कहा, ‘पर्यटन विभाग रामलैंड से बच्चों और बड़ों दोनों को लुभाने की कोशिश कर रहा है। इसमें मनोरंजन के साथ ज्ञान भी मिलेगा।’

साथ ही सरयू नदी पर क्रूज के लिए भी काम चल रहा है। इसे कुछ महीनों में शुरू कर दिया जाएगा। मेश्राम ने बताया, ‘सरकार ने उत्तर प्रदेश पर्यटन नीति, 2022 पेश कर दी है और कंपनियां विभिन्न आतिथ्य और पर्यटन बुनियादी ढांचा परियोजनाओं में गहरी दिलचस्पी दिखा रही हैं।’

उन्होंने कहा कि अयोध्या की ओर आने वाली सड़कों पर छह भव्य धनुषाकार द्वार बनाने की भी राज्य सरकार की योजना है। उन्होंने कहा, ‘लखनऊ, गोरखपुर, गोंडा, आंबेडकरनगर आदि से अयोध्या आने के लिए छह सड़कें हैं। सभी पर द्वार बनेंगे और उनके परिसरों के नाम रामायण के पात्रों के नाम पर रखे जाएंगे। इनमें योग केंद्र, फूड कोर्ट, शयनगृह जैसी पर्यटन सुविधाएं शामिल होंगी।’

इसके अलावा निजी होटल श्रृंखलाएं अयोध्या के पूर्व राज परिवार के साथ बातचीत कर रही हैं ताकि महलों को धरोहर यानी हेरिटेज संपत्तियों में बदलकर पर्यटकों को राजसी अनुभव प्रदान कराया जा सके। राम मंदिर का निर्माण अब लगभग पूरा होने वाला है इसलिए सरकार अयोध्या में अभी चल रही और प्रस्तावित परियोजनाओं में तेजी ला रही है। लक्जरी और बजट श्रेणियों में ताज समूह, रैडिसन, आईटीसी और ओयो जैसे प्रमुख होटल समूह भी अयोध्या में परियोजनाएं शुरू करने जा रहे हैं।

अयोध्या में 2022 में 2 करोड़ पर्यटक आए थे मगर इनकी संख्या अगले 8-9 वर्षों में दोगुनी यानी करीब 4 करोड़ होने का अनुमान है, इसलिए आतिथ्य क्षेत्र की प्रमुख कंपनियां अयोध्या के प्रति उत्साहित हैं।

Also Read: फूड डिलिवरी फर्मों का IPL बोनांजा

मेश्राम ने कहा, ‘हमारे पोर्टल पर 25 से अधिक होटल कंपनियों ने पंजीकरण कराया है। आने वाले महीनों में करीब दो दर्जन और कंपनियां आने की उम्मीद है।’ सरकार निवेश पर 25 फीसदी पूंजीगत अनुदान देगी। महिलाओं और अनुसूचित जाति/जनजाति के उद्यमियों को 5 फीसदी सब्सिडी अलग से दी जाएगी।

उन्होंने कहा, ‘हमारी पर्यटन नीति आतिथ्य क्षेत्र के लिए सबसे आकर्षक है। वैश्विक महामारी के बाद उन्हें भी वित्तीय सहायता की आवश्यकता है। हमारे पास होटल और रिसॉर्ट के प्रस्ताव बड़ी संख्या में आए हैं।’

खबरों के मुताबिक ताज समूह की इंडियन होटल्स कंपनी (IHCL) अयोध्या में दो होटल खोलने की योजना बना रही है। होटल एग्रीगेटर ओयो (OYO) भी कई होटल और होमस्टे इकाइयां जोड़ने की सोच रही है। अभी अयोध्या में 600 कमरों के साथ लगभग 18 अच्छे होटल हैं। लेकिन इस साल के अंत तक या अगले साल की शुरुआत में जब श्रद्धालुओं और पर्यटकों के लिए राम मंदिर खुल जाएगा तब कमरों की मांग में भारी उछाल आने की उम्मीद है।

यहां अयोध्या अंतरराष्ट्रीय हवाईअड्डा भी बन रहा है और उम्मीद की जा रही है कि इससे धार्मिक नगरी तेजी से भारत का प्रमुख पर्यटन केंद्र बन जाएगी। साथ ही लाइट ऐंड साउंड शो, वेलनेस सेंटर, आयुर्वेद पंचकर्म केंद्र, टेंट सिटी और सड़कों के किनारे सुविधाओं जैसी परियोजनाओं पर भी काम जारी है।

‘अयोध्या विजन 2047’ थीम के तहत अयोध्या के कायापलट पर सरकारी खजाने से 30,000 करोड़ रुपये खर्च होने का अनुमान है। इसे पर्यटन, विमानन, बुनियादी ढांचे, आवास, चिकित्सा, ऊर्जा, संस्कृति, शहरी विकास, परिवहन आदि से संबंधित लगभग 260 परियोजनाओं में निवेश करने का लक्ष्य है। यह खर्च केंद्र और राज्य सरकार मिलकर करेंगी।

Also Read: लंबा-टिकाऊ रिटर्न चाहिए तो दफ्तरों में लगाएं रकम

इन परियोजनाओं में स्मार्ट सिटी मिशन, सड़कों का चौड़ीकरण, आधुनिक बस टर्मिनल, ऊपर लगे बिजली के तारों को हटाना, घाटों का सौंदर्यीकरण और सांस्कृतिक केंद्रों का निर्माण शामिल हैं।

मगर इस रकम में राम मंदिर बनने का खर्च शामिल नहीं है। यह परियोजना श्री राम जन्मभूमि तीर्थ क्षेत्र द्वारा शुरू की गई है, जिसमें निजी दान और समूह दान के माध्यम से आवश्यक धनराशि जुटाई जा रही है। पिछले साल ट्रस्ट के महासचिव और विश्व हिंदू परिषद के वरिष्ठ नेता चंपत राय ने कहा था कि संशोधित अनुमान के आधार पर मंदिर की लागत करीब 1,800 करोड़ रुपये बैठेगी।

अयोध्या नगर निगम ने भी शहर को अंतरराष्ट्रीय पर्यटन केंद्र के रूप में विकसित करने के लिए भारतीय प्रबंध संस्थान, इंदौर के साथ समझौता किया है।

First Published - May 8, 2023 | 11:45 PM IST

संबंधित पोस्ट