मध्य भारत में जनवरी महीने के दौरान ठंडी हवाएं ‘सामान्य से नीचे’ रह सकती हैं, जबकि देश के तमाम इलाकों में न्यूनतम तापमान सामान्य से ऊपर रह सकता है। मौसम विभाग के महानिदेशक मृत्युंजय महापात्र ने आज जनवरी 2024 के मौसम का अनुमान जारी करते हुए कहा कि जनवरी 2024 का मासिक अधिकतम तापमान मध्य और उत्तर-पश्चिम भारत के कई हिस्सों में सामान्य से नीचे रहने की संभावना है।
उन्होंने कहा कि द्वीपीय और उत्तर पूर्व भारत के ज्यादातर इलाकों में अधिकतम तापमान सामान्य से अधिक रह सकता है। जनवरी महीने में तापमान में अचानक और तेज वृद्धि से रबी की खड़ी फसलों खासकर गेहूं और सरसों पर विपरीत असर पड़ सकता है।
व्यापारियों व बाजार के हिस्सेदारों ने कहा कि अगले कुछ महीनों में मार्च तक का मौसम गेहूं के अधिकतम उत्पादन होने के हिसाब से अहम होगा। हालांकि सरकार को भरोसा है कि उत्पादन अच्छा होगा, क्योंकि बोए गए कुल गेहूं में से 60 से 80 प्रतिशत तापमान झेल पाने में सक्षम है।
कृषि आयुक्त पीके सिंह ने पीटीआई से बातचीत में आज कहा कि गेहूं की बोआई अंतिम चरण में है और यह अगले 10 दिन जारी रहेगी, जिससे 2023-24 रबी सत्र में फसल के रकबे में आई कमी की भरपाई हो जाएगी। सिंह ने कहा कि इस समय गेहूं उगने की स्थिति में है और मौजूदा तापमान इसके लिए बेहतर है।