राजस्थान बीजेपी नेता सीपी जोशी ने चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर चंद्रयान-3 की सफल लैंडिंग के लिए पूर्व प्रधानमंत्रियों जवाहरलाल नेहरू और इंदिरा गांधी को श्रेय देने के लिए मुख्यमंत्री अशोक गहलोत की आलोचना की। यह खबर टाइम्स ऑफ इंडिया के हवाले से ली गई है।
रविवार को मीडिया से बात करते हुए जोशी ने दावा किया कि कांग्रेस सरकार ने वैज्ञानिकों को जेल में डाल दिया और उनके खिलाफ साजिश रची। उन्होंने कहा कि यह प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में हुआ कि वैज्ञानिकों को जरूरी रिसोर्स और सुविधाएं मिलीं, जिससे भारत चंद्रमा के दक्षिणी ध्रुव पर उतरने वाला पहला देश बन गया। जोशी ने यह भी कहा कि कांग्रेस शासन के दौरान वैज्ञानिकों को पर्याप्त सपोर्ट नहीं दिया गया था।
उनका बयान मुख्यमंत्री गहलोत के पिछले बयान का खंडन था। गहलोत ने कहा था, “भारत द्वारा हासिल की गई यह अद्वितीय वैश्विक सफलता वैज्ञानिकों के अथक प्रयासों और स्पेस रिसर्च के प्रति नेहरू और इंदिरा की दूरदर्शिता का परिणाम है। भारत आज़ादी के कुछ साल बाद ही अंतरिक्ष अनुसंधान संस्थान की स्थापना करने के कारण अब वैश्विक अंतरिक्ष शक्ति के स्टेटस को प्राप्त करने में कामयाब हुआ है।”
जोशी ने कहा कि गहलोत डरे हुए हैं, इसलिए वह ऐसे बयान दे रहे हैं। उन्होंने कहा कि गहलोत को डर लग रहा है कि उनके “लाल डायरी’ में दर्ज गलत काम सामने आ जाएंगे, जिसमें उनके शासन के दौरान वित्तीय अनियमितताओं का विवरण है।” जोशी ने कहा कि गहलोत आगामी राज्य विधानसभा चुनावों को लेकर चिंतित हैं।
उन्होंने आगे कहा, “वर्तमान में, गहलोत लाल डायरी और चुनाव को लेकर चिंतित हैं। कांग्रेस प्रशासन के द्वारा किए गए कदाचार और भ्रष्टाचार से ध्यान हटाने के लिए, वह इस तरह के दावों का सहारा ले रहे हैं। हालांकि, जनता अच्छी तरह से जागरूक है और कांग्रेस को नहीं छोड़ेगी।”
इसके अलावा, जोशी ने सवाल किया कि अगर मुख्यमंत्री को गुढ़ा की “लाल डायरी” के बारे में कोई चिंता नहीं थी तो गहलोत के कैबिनेट सहयोगी राजेंद्र गुढ़ा को बर्खास्त क्यों किया गया। राजस्थान के बर्खास्त मंत्री राजेंद्र गुढ़ा ने पहले दावा किया था कि जुलाई 2020 में आयकर छापे के दौरान कांग्रेस नेता धर्मेंद्र राठौड़ के आवास से उन्हें जो “लाल डायरी” मिली थी, उसमें गहलोत के वित्तीय लेनदेन के रिकॉर्ड थे।
राजस्थान विधानसभा के चुनाव इस साल के अंत में होने हैं।