सरकार ने शुक्रवार को किरीट पारेख समिति द्वारा सुझाए गए नए मूल्य निर्धारण फॉर्मूले के तहत अप्रैल के बाकी दिनों के लिए प्राकृतिक गैस की कीमत 7.92 डॉलर प्रति MMBTU (दस लाख ब्रिटिश थर्मल यूनिट) तय की है। हालांकि, उपभोक्ताओं के लिए अंतिम दरें 6.5 डॉलर प्रति MMBTU तक सीमित कर दी गई हैं।
तेल मंत्रालय के पेट्रोलियम योजना और विश्लेषण प्रकोष्ठ (PPAC) ने आदेश में कहा कि 8 अप्रैल से 30 अप्रैल के लिए प्राकृतिक गैस की कीमत 7.92 डॉलर प्रति 10 लाख ब्रिटिश थर्मल यूनिट होगी। यह कीमत आयातित कच्चे तेल की औसत लागत के 10 प्रतिशत मूल्य के आधार पर तय की गई है।
बहरहाल केंद्रीय मंत्रिमंडल ने मूल्य निर्धारण फॉर्मूले में बदलाव करते हुए उपभोक्ताओं के लिए दरों को 6.5 डॉलर प्रति MMBTU पर सीमित कर दिया है। यह सीमा 31 मार्च, 2025 तक दो वर्ष के लिए लागू होगी। आदेश में कहा गया है, ‘ओएनजीसी/ ओआईएल द्वारा उनके पुराने क्षेत्रों से उत्पादित गैस के लिए कीमत 6.5 डॉलर प्रति MMBTU की सीमा के अधीन होगी।’
सरकार ने गुरुवार को प्राकृतिक गैस के घरेलू मूल्य मॉडल में बदलाव करते हुए इसे गैस की कीमत को लेकर किरीट पारेख समिति की सिफारिशों के आधार पर कर दिया था। सरकार ने अगले 2 साल के लिए 4 डॉलर प्रति MMBTU फ्लोर प्राइस को मंजूरी दी है, जिससे कि सरकारी फर्मों ओएनजीसी लिमिटेड और ओआईएल लिमिटेड के गैस उत्पादन की लागत की भरपाई हो सके। सीलिंग दरें 6.5 डॉलर प्रति एमएमबीयूटी तय की जाएंगी। पेट्रोलियम सचिव पंकज जैन ने कहा कि उसके बाद दोनों- फ्लोर प्राइस और सीलिंग प्राइस सालाना करीब 0.5 डॉलर प्रति MMBTU बढ़ाई जाएंगी।
नई दरों से सीएनजी और पाइपलाइन के माध्यम से पहुंचने वाली रसोई गैस और वाहन ईंधन और पेट्रोकेमिकल्स व उर्वरक क्षेत्र सहित विभिन्न उद्योगों में इस्तेमाल होने वाली कंप्रेस्ड नैचुरल गैस (सीएनजी) की कीमतों में 10 प्रतिशत तक कमी होगी।
बहरहाल सरकार ने बीपी पीएलसी और रिलायंस इंडस्ट्रीज के केजी-डी6 जैसे दुर्गम क्षेत्रों के मौजूदा मूल्य नीति में कोई बदलाव नहीं किया है। भारत के प्राकृतिक गैस में करीब 83.3 प्रतिशत उत्पादन ओएनजीसी लिमिटेड और ओआईएल इंडिया करते हैं, जबकि शेष 16.7 प्रतिशत उत्पादन निजी कंपनियां और संयुक्त उद्यम इकाइयां करती हैं।
दरों में बदलाव
इस सप्ताह की शुरुआथ में सरकार ने उत्तराधिकार या पुराने क्षेत्र से उत्पादित प्राकृतिक गैस की प्रशासित कीमत में कोई बदलाव नहीं करते हुए 1 अप्रैल से 31 सितंबर तक के लिए 8.57 डॉलर प्रति एमबीटीयू पर बरकरार रखा था। हाल के आदेश ने इसे बदल दिया है।
नए, लेकिन कठिन क्षेत्रों जैसे रिलायंस इंडस्ट्रीज और उसके पार्टनर बीपी द्वारा केजी बेसिन से उत्पादित गैस की दरें मामूली घटाकर 12.12 डॉलर प्रति MMBTU रखा गया था। सूत्रों ने कहा कि ये दरें यथावत बनी रहेंगी।