पश्चिम एशिया में रिलायंस का निवेश

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बीएस संवाददाता
Last Updated- December 11, 2022 | 11:00 PM IST

मुकेश अंबानी के नेतृत्व वाली कंपनी रिलायंस इंडस्ट्रीज (आरआईएल) ने अबू धाबी केमिकल्स डेरिवेटिव्स कंपनी (ताजिज) के साथ पश्चिम एशिया में अपने पहले निवेश की तैयारी कर रही है। आरआईएल ने एक बयान में कहा है कि दोनों कंपनियों ने अबू धाबी के रुवाइस में ताजिज इंडस्ट्रियल केमिकल्स जोन में एक रसायन उत्पादन साझेदारी ‘ताजिज ईडीसी ऐंड पीवीसी’ को लॉन्च करने के लिए सहमति जताई है।
आरआईएल ने बयान में कहा है, ‘नया संयुक्त उद्यम 2 अरब डॉलर से अधिक के निवेश के साथ क्लोर-अल्कली, एथिलीन डाईक्लोराइड (ईडीसी) और पॉलिविनाइल क्लोराइड (पीवीसी) उत्पादन संयंत्र का निर्माण और परिचालन करेगा।’
बयान में कहा गया है कि यह इस क्षेत्र में रिलायंस समूह का पहला निवेश है। यह पश्चिम एशिया में निवेश करने के लिए आरआईएल की घोषणा के अनुरूप है। आरआईएल ने अपने ओ2सी कारोबार में हिस्सेदारी की बिक्री के लिए सऊदी अरामको के साथ संभावित सौदे की घोषणा के दौरान यह बात कही थी। हालांकि सऊदी अरामको के साथ उसका सौदा पूरा नहीं हो सका।
आरआईएल के अधिकारियों के अनुसार, ताजिज ईडीसी ऐंड पीवीवी में इक्विटी ढांचे को फिलहाल अंतिम रूप नहीं दिया गया है।
ताजिज इंडस्ट्रियल केमिकल जोन परियोजनाएं फिलहाल डिजाइन चरण में हैं और इन परियोजनाओं को 2025 तक शुरू किए जाने का लक्ष्य रखा गया है। इन परियोजनाओं के साथ ही संयुक्त अरब अमीरात में इन रसायनों का उत्पादन शुरू होगा। आरआईएल के बयान में कहा गया है, ‘यह परियोजना आयात का विकल्प पेश करते हुए स्थानीय मूल्य शृंखला तैयार करेगी और वैश्विक स्तर पर इन रसायनों की बढ़ती मांग को पूरा करेगी।’
संयुक्त अरब अमीरात के उद्योग एवं उन्नत प्रौद्योगिकी मंत्री सुल्तान अल जबर ने इस साझेदारी के बारे में कहा, ‘यह नया संयुक्त उद्यम संयुक्त अरब अमीरात में पहली बार महत्त्वपूर्ण औद्योगिक कच्चे माल का उत्पादन करेगा। साथ ही यह अगले 50 वर्षों के दौरान एक वास्तविक गतिशील अर्थव्यवस्था को रफ्तार देने के लिए औद्योगिक क्षेत्र को सशक्त बनाने संबंधी हमारी राष्ट्रीय रणनीति का समर्थन करेगा।’
अल जबर अबू धाबी नैशनल ऑयल कंपनी (एडीएनओसी) के प्रबंध निदेशक एवं ग्रुप सीईओ भी हैं।
आरआईएल के चेयरमैन अंबानी ने कहा, ‘हम संयुक्त अरब अमीरात में विनाइल शृंखला के तहत अपनी पहली परियोजना ताजिज इंडस्ट्रियल केमिकल्स जोन में स्थापित करेंगे जिसे रसायनों के लिए एक वैश्विक केंद्र के तौर पर विकसित किया जा रहा है।’ उन्होंने कहा, ‘पीवीसी के लिए भारत की जरूरतों से उसकी वृद्धि को रफ्तार मिलेगी और संयुक्त अरब अमीरात में उसकी पर्याप्त उपलब्धता होने से दोनों कंपनियों को इस साझेदारी से फायदा होगा।’ क्लोर-अल्कली कास्टिक सोडा के उत्पादन को समर्थ बनाता है जो एल्युमिना रिफाइनिंग प्रक्रिया के लिए काफी महत्त्वपूर्ण है।
 

First Published : December 8, 2021 | 12:02 AM IST