भारत की सबसे बड़ी एयरलाइन कंपनी इंटरग्लोब एविएशन (IndiGo) के प्रमोटर और सह-संस्थापक राकेश गंगवाल और उनका परिवार ट्रस्ट कंपनी में अपनी 3.1% हिस्सेदारी करीब ₹7,028 करोड़ में बेचने की तैयारी में हैं। यह जानकारी समाचार एजेंसी पीटीआई द्वारा एक्सेस किए गए एक टर्म शीट के माध्यम से सामने आई है।
ट्रांजैक्शन के पूरा होने के बाद, गंगवाल और उनके परिवार ट्रस्ट की हिस्सेदारी इंडिगो में 7.81% से घटकर 4.71% रह जाएगी। इस बिक्री में कुल 1.21 करोड़ शेयर शामिल होंगे, जिनकी फ्लोर प्राइस ₹5,808 प्रति शेयर तय की गई है, जो कि इंडिगो के मंगलवार को NSE पर बंद भाव ₹6,050 से लगभग 4% कम है।
सौदे की शर्तों के अनुसार, गंगवाल परिवार और उनके नजदीकी रिश्तेदारों पर 150 दिनों तक शेयर बेचने की रोक (lock-up) रहेगी। हालांकि, इस दौरान USD 300 मिलियन या उससे अधिक मूल्य के शेयरों की एक बार में एक निवेशक या समूह को बिक्री की अनुमति होगी, बशर्ते वह निवेशक ऑफर प्राइस पर सहमत हो और लॉक-इन पीरियड की शर्तें माने।
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गंगवाल और सह-संस्थापक राहुल भाटिया के बीच कॉरपोरेट गवर्नेंस को लेकर टकराव के बाद, फरवरी 2022 में राकेश गंगवाल ने इंडिगो के बोर्ड से इस्तीफा दे दिया था और यह ऐलान किया था कि वे अगले पांच वर्षों में अपनी हिस्सेदारी धीरे-धीरे कम करेंगे। यह लेन-देन इंडिगो के शेयरहोल्डिंग स्ट्रक्चर में एक बड़ा बदलाव लाएगा और एयरलाइन सेक्टर में निवेशकों की दिलचस्पी को भी प्रभावित कर सकता है। गंगवाल परिवार का यह कदम उनके घोषित रोडमैप के अनुसार है और यह इंडिगो की भविष्य की रणनीतिक दिशा के लिए भी अहम साबित हो सकता है।