रिलायंस इंडस्ट्रीज की वित्तीय सेवा इकाई का मूल्यांकन 1.66 लाख करोड़ रुपये (20 अरब डॉलर) आंका गया। स्टॉक एक्सचेंजों पर आज एक घंटे के विशेष ट्रेडिंग सत्र के बाद जियो फाइनैंशियल (Jio Financial Services) का मूल्यांकन तय हुआ। जियो फाइनैंशियल सर्विसेज के शेयर का भाव 261.85 रुपये रहा, जो विश्लेषकों के 134 से 224 रुपये प्रति शेयर भाव के अनुमान से ज्यादा है। रिलायंस इंडस्ट्रीज (आरआईएल) के बुधवार को बंद भाव 2,840 रुपये और अपनी तरह के पहले पूर्व-ट्रेडिंग सत्र में बोली लगे 2,580 रुपये प्रति शेयर भाव को घटाकर जियो फाइनैंशियल के शेयर मूल्य की गणना की गई।
जियो फाइनैंशियल के लिए खोजी गई कीमत आरआईएल द्वारा बताई गई कीमत से भी अधिक रही। कंपनी ने बीते बुधवार को कहा था कि वित्तीय इकाई को अलग करने के बाद रिलायंस स्ट्रैटजिक इन्वेस्टमेंट्स (जियो फाइनैंशियल सर्विसेज) के अधिग्रहण की लागत 4.68 फीसदी होगी और आरआईएल की 95.32 फीसदी होगी। यह मूल्य जियो फाइनैंशियल के 133 रुपये प्रति शेयर और आरआईएल के 2,709 रुपये प्रति शेयर के आधार पर बताई गई थी।
मौजूदा मूल्यांकन पर जियो फाइनैंशियल (अभी पूरी तरह से परिचालन शुरू नहीं हुआ है) देश की 33वीं सबसे मूल्यवान और बजाज फाइनैंस तथा बजाज फिनसर्व के बाद तीसरी सबसे बड़ी गैर-बैंकिंग वित्तीय कंपनी (एनबीएफसी) होगी। बैंकिंग क्षेत्र में केवल 5 ऋणदाता हैं जिनका मूल्यांकन जियो फाइनैंशियल से अधिक है।
जियो फाइनैंशियल की आरआईएल में 6.1 फीसदी हिस्सेदारी है, जिसका मौजूदा मूल्यांकन 1.08 लाख करोड़ रुपये है। 2,623 रुपये के बंद भाव के आधार पर 17.74 लाख करोड़ रुपये मूल्यांकन के साथ आरआईएल देश की सबसे मूल्यवान कंपनी है।
इक्विनॉमिक्स के संस्थापक और शोध प्रमुख जी चोकालिंगम ने कहा, ‘मेरा मानना है कि कीमत वाजिब है और सूचीबद्धता के दिन इसमें और इजाफा होने की गुंजाइश है। यदि कंपनी के स्वामित्व वाले ट्रेजरी शेयरों को हटा दिया जाए तो जियो फिन का मूल्य उसके नेटवर्थ के प्रतिशत के रूप में है जो प्रतिस्पर्धी एनबीएफसी की तुलना में काफी कम है।
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जियो प्लेटफॉर्म, प्रवर्तकों का प्रोफाइल, एकीकरण की संभावना को देखते हुए इसके मूल्य में और बढ़ोतरी हो सकती है।’ विश्लेषकों का मानना है कि वित्तीय इकाई को अलग करना रिलायंस समूह का शानदार कदम है। इससे नई कंपनी को नए निवेशकों, रणनीतिक साझेदारों और वित्तीय सेवा कारोबार में रुचि रखने वाले विशिष्ट ऋणदाताओं को आकर्षित करने में मदद मिलेगी।
आरआईएल ने पिछले साल अक्टूबर में वित्तीय इकाई को अलग करने की घोषणा की थी लेकिन अभी जियो फाइनैंशियल को सूचीबद्ध कराने की तारीख का ऐलान नहीं किया गया है।