Infosys Q4FY24 Results: देश की दूसरी सबसे बड़ी आईटी कंपनी इन्फोसिस ने चालू वित्त वर्ष में स्थिर मुद्रा पर 1 से 3 फीसदी आय वृद्धि का अनुमान लगाया है। वित्तीय सेवा क्षेत्र से खर्च पिछले वित्त वर्ष की तुलना में बढ़ा है मगर गैर-जरूरी खर्च अब भी कम है। इसी कारण कंपनी ने 2024-25 में आय वृद्धि कम रहने का अनुमान लगाया है। इन्फोसिस ने कहा कि चालू वित्त वर्ष में उसका परिचालन मार्जिन 20-22 फीसदी के दायरे में रहेगा।
वित्त वर्ष 2024 की चौथी तिमाही में इन्फोसिस का शुद्ध मुनाफा जनवरी-अप्रैल 2023 के मुकाबले 30 फीसदी बढ़कर 7,969 करोड़ रुपये रहा। अक्टूबर-दिसंबर 2023 के मुकाबले इस साल जनवरी-मार्च तिमाही में कंपनी का मुनाफा 30.5 फीसदी बढ़ा, जो ब्लूमबर्ग के 6,166 करोड़ रुपये के अनुमान से अधिक है।
जनवरी-मार्च 2024 में कंपनी की आय साल भर पहले की तुलना में 1.3 फीसदी बढ़कर 37,923 करोड़ रुपये रही। मगर यह ब्लूमबर्ग के 38,572 करोड़ रुपये के अनुमान से कम है। एक तिमाही पहले के मुकाबले कंपनी की आय 2.3 फीसदी घटी है।
दूसरी ओर प्रतिस्पर्धी कंपनी टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज (टीसीएस) की आय वित्त वर्ष 2024 की चौथी तिमाही में 3.5 फीसदी बढ़कर 61,237 करोड़ रुपये रही थी।
डॉलर मद में इन्फोसिस की आय कमोबेश साल भर पहले जितनी ही रही और अक्टूबर-दिसंबर 2023 की तुलना में यह 2.2 फीसदी घटकर 4.6 अरब डॉलर रही। जनवरी-मार्च 2024 कंपनी को कुल 4.5 अरब डॉलर मूल्य के बड़े ठेके मिले।
इन्फोसिस के मुख्य कार्याधिकारी (CEO) और प्रबंध निदेशक (MD) सलिल पारेख ने कहा, ‘वित्त वर्ष 2024 में हमें अब तक के सबसे अधिक कीमत के ठेके मिले। इससे पता चलता है कि ग्राहकों को कंपनी में कितना भरोसा है। हम जेनरेटिव एआई में अपनी क्षमता बढ़ाते रहेंगे।’
250 अरब डॉलर का भारतीय आईटी सेवा उद्योग अमेरिका और यूरोप जैसे प्रमुख बाजारों में वृहद आर्थिक चुनौतियों का सामना कर रहा है। इस कारण ग्राहक फैसले लेने में देर कर रहे हैं और गैर-जरूरी खर्च भी कम कर दिया गया है। पिछली तिमाही में कंपनी का परिचालन मार्जिन भी 21 फीसदी से घटकर 20.1 फीसदी रह गया।
इन्फोसिस के मुख्य वित्त अधिकारी जयेश संघराजका ने कहा, ‘निदेशक मंडल ने पूंजी आवंटन नीति को मंजूरी दी है, जिससे कंपनी को अगले 5 साल में 85 फीसदी रिटर्न की उम्मीद है। साथ ही उसे प्रति शेयर वार्षिक लाभांश में भी लगातार इजाफे की उम्मीद है। मध्यम अवधि में परिचालन मार्जिन बढ़ाना और प्रोजेक्ट मैक्सिमस में जल्द सफलता हासिल कर नकदी की आवक बढ़ाना हमारी प्राथमिकता बनी रहेगी।’
इन्फोसिस की कुल आय में वित्तीय सेवाओं और रिटेल सेगमेंट की करीब 50 फीसदी हिस्सेदारी है। 2023-24 की चौथी तिमाही में वित्तीय सेवा कारोबार से कंपनी की आय साल भर पहले के मुकालबे 8.5 फीसदी घट गई और कुल आय में इसकी हिस्सेदारी 26.4 फीसदी रही। रिटेल से आय 3.7 फीसदी कम हो गई और कुल आय में इसका योगदान 14.3 फीसदी रहा।
तिमाही में 12.6 फीसदी कर्मचारियों ने कंपनी छोड़ी। जनवरी-अप्रैल 2023 में 20.9 फीसदी कर्मचारियों ने कंपनी छोड़ी थी। शेयरखान बाय बीएनपी पारिबा में शोध प्रमुख संजीव होता ने कहा, ‘इन्फोसिस के कमजोर तिमाही नतीजे, वित्त वर्ष 2025 के लिए उम्मीद से कम आय वृद्धि का अनुमान और कुल कर्मचारियों की संख्या में कमी से पता चलता है कि कारोबार में नरमी बनी हुई है। अच्छी बात यह रही कि वित्त वर्ष 2024 की चौथी तिमाही में कंपनी ने बड़े सौदे हासिल किए हैं और पूरे वित्त वर्ष में उसे 17.7 अरब डॉलर के बड़े सौदे मिले हैं।’
इन्फोसिस के नतीजे आज बाजार बंद होने के बाद आए। नतीजे आने से पहले कंपनी का शेयर बंबई स्टॉक एक्सचेंज पर 0.41 फीसदी बढ़कर 1,420.55 रुपये पर बंद हुआ था।