भारत की सबसे बड़ी विमानन कंपनी इंडिगो पांच एयरबस ए 321 विमान खरीदने के लिए बातचीत कर रही है। ये सभी पहले यात्री विमान थे जो अब माल वाहक विमान में तब्दील किए गए हैं। इस पूरे मामले की जानकारी रखने वाले सूत्रों ने कहा कि शुरू में इंडिगो बाजार में 5 ऐसे विमान उतारेगी और इनके दमखम का अंदाजा लगाने के बाद भविष्य में और विमान भी खरीद सकती है। इन दिनों माल वहन कारोबार खासा बढ़ गया है और इंडिगो की प्रतिस्पद्र्धी स्पाइसजेट ने कोविड-19 महामारी के दौरान यात्री विमानों को मालवाहक विमानों के रूप में इस्तेमाल कर मोटी कमाई की थी। इसे देखते हुए अब इंडिगो भी इस कारोबार पर दांव लगा रही है।
फ्रांस की कंपनी एयरबस के लिए इंडिगो के साथ सौदा फायदेमंद होगा। एयरबस एक इंजन वाले विमान 321 को माल वाहक विमान में बदल रही है और इसकी यह योजना इंडिगो के साथ सौदे से लाभान्वित हो सकती है। एयरबस भारत में अमेरिका की विमान बनाने वाली कंपनी बोइंग के दबदबे को चुनौती देने में सफल नहीं रही है। बोइंग 737 विमानों को माल वाहक विमानों में बदल रही है और स्पाइसजेट के पास ऐसे 5 विमान हैं।
यात्री विमानों को माल वाहक विमानों में बदलने के लिए सीटों को हटाने के अलावा कई संरचनात्मक बदलाव करने पड़ते हैं। इनमें माल चढ़ाने और उतारने के लिए विमानों में चौड़ा द्वार बनाने के अलावा कई दूसरी खूबियां जोडऩी पड़ती है। एक यात्री विमान को माल वाहक विमान में बदलने पर करीब 15 महीने तक लग जाते हैं। इंडिगो को पहला माल वाहक विमान अगले वर्ष की शुरुआत तक मिल सकता है। इस बारे में इंडिगो के मुख्य वाणिज्यिक अधिकारी विली बॉल्टर ने कहा, ‘इंडिगो सक्रियता से मालवहन कारोबार का अध्ययन कर रही है। हालांकि कंपनी ने विशुद्ध रूप से एक माल वाहक विमान खरीदने के लिए कोई पुख्ता समझौता नहीं किया है।
इस बीच, कार्गो-इन-कैबिन चार्टर मॉडल और विमानों की पेटी बढ़ाने की पहल सफल रही है और इससे कंपनी को अच्छा मुनाफा भी मिल रहा है।’ कोविड-19 महामारी के बीच विमानन कारोबार पर भीषण चोट पड़ी है और हवाई किराया भी निचले स्तर पर पहुंच गया था। ऐसे में विमानों के जरिये माल ढुलाई ने रफ्तार पकड़ी है। इस समय कम संख्या में लोग विमानों से यात्रा कर रहे हैं और यात्री विमानन कंपनियां माल ढुलाई को ध्यान में रखते हुए अपने मार्ग का विस्तार कर रही हैं और यथासंभव नए मार्ग जोड़ रही हैं। नियमों में मिली रियायतों का इस्तेमाल कर वे खाली सीटों की भरपाई माल ढुलाई कर पूरी कर रही हैं। तेजी से माल एक स्थान से दूसरे स्थान तक पहुंचाने में वायु मार्ग का इस्तेमाल किया जाता है और कोविड-19 महामारी के दौरान इस कारोबार की मांग काफी बढ़ी है।
स्पाइसजेट का राजस्व पिछली तिमाही के मुकाबले 36 प्रतिशत बढ़ गया, जिससे कंपनी को नकदी की भरपाई करने में बहुत मदद मिली। बुधवार को चिली की विमानन कंपनी लटाम एयरलाइन्स ने भी माल ढुलाई परिचालन का विस्तार करने की योजना की घोषणा की है। ई-कॉमर्स कंपनी एमेजॉन भी अपने मालवाहक विमानों के बेड़े का आकार बढ़ा रही है।