हाल ही में विप्रो ने कहा है कि ग्राहकों के तेजी से दांव लगाने के कारण वह अगले तीन वर्षों के दौरान आर्टिफिशल इंटेलिजेंस (AI) में एक अरब डॉलर का निवेश करेगी। कंपनी अपनी परामर्श कवायद भी मजबूत कर रही है क्योंकि आर्थिक मंदी के दौरान रणनीति मायने रखती है।
विप्रो के प्रबंध निदेशक और मुख्य कार्याधिकारी थिएरी डेलापोर्ट ने मांग के माहौल, परामर्श पर ध्यान केंद्रित करने और एआई आधारित सौदों के बारे में आयुष्मान बरुआ से बातचीत की। संपादित अंशः
प्रवृत्ति अभी काफी स्थिर है। मैं दूसरी तिमाही में पहली तिमाही के मुकाबले कोई खास बदलाव नहीं देख रहा हूं। मुझे लगता है कि हम अनिश्चितता के समान बाजार में हैं मगर आगे किसी तरह की कोई गिरावट नहीं होने वाली है।
-2 फीसदी से +1 फीसदी के हमारे राजस्व से पता चलता है कि पिछली तिमाही से सुधार हुआ है, लेकिन मैं अभी यह नहीं कह सकता हूं कि परिवर्तन टिकाऊ है या नहीं।
करीब 30 वर्षों के बाद हमने संगठन को एक मैट्रिक्स में बदल दिया। इसमें बाजार की जरूरतें एक तरफ और हमारी वैश्विक व्यापार रेखा दूसरी तरफ थी। हम करीब ढाई वर्षों से इसी मॉडल पर चल रहे हैं। यह विप्रो के इतिहास में पहली बार था कि हम ऐसा मॉडल बना रहे थे।
मुझे लगा कि केवल दो वैश्विक कारोबारों के साथ इस मॉडल को सरल रखने की जरूरत है। चूंकि यह मॉडल जनवरी 2021 में दो वैश्विक कारोबारों के साथ शुरू किया गया, इसलिए इसमें अभूतपूर्व वृद्धि हुई है और यह बड़े हो गए हैं। साथ ही हमारा बाजार में परिपक्व हो गया है।
Also read: RIL Stocks: नए ऑल-टाइम हाई पर रिलायंस के शेयर, M-cap 19.1 लाख करोड़ रुपये
हां, अगर आप सच में अपने ग्राहकों के साथ रणनीतिक विमर्श करना चाहते हैं तो परामर्श जरूरी है। यदि आप जटिल ऐंड टू ऐंड परिवर्तन सौदे बनाने में सक्षम होना चाहते हैं तो परामर्श क्षमताओं की जरूरत होगी। पिछले कुछ वर्षों में हमारा परामर्श व्यवसाय बहुत मजबूत हुआ है।
हमने सुरक्षा क्षेत्र में कैपको, राइजिंग, एडजाइल और संचार क्षेत्र में कन्वर्जेंस एक्सेलेरेशन सॉल्यूशंस (सीएस समूह) का अधिग्रहण किया है। आगे भी ऐसा करना जारी रखेंगे।
हां, हम अपने संभावित सौदों को देख रहे है। एआई आधारित सौदों की संख्या काफी तेजी से बढ़ रही है। किसी ग्राहक के साथ ऐसी कोई चर्चा नहीं हो रही है जिस पर एआई से जुड़ी बातचीत न हो। उन सभी के मन में यह बात है। बड़े सौदों की बात करें तो करीब तीन साल पहले विप्रो बमुश्किल इस क्षेत्र में थी।
लेकिन, पिछले तीन वर्षों में हम बड़े सौदों के लिए एक टीम बनाई है जो ऐसे सौदों को तैयार करते हैं। हम अधिक सक्रिय होने और कुछ परिवर्तनकारी विचारों के साथ ग्राहकों के पास जाने के लिए खाता अधिकारियों के साथ काम कर रहे हैं। इससे बड़े सौदों की एक मजबूत संभावना तैयार हुई है।
Also read: L&T Technology Q1 result: नेट प्रॉफिट 13 फीसदी बढ़कर 311.1 करोड़ रुपये पर पहुंचा
हमारी रणनीति वही है जो हमने अक्टूबर 2020 में बनाई थी। अधिग्रहण हमारी रणनीति का एक हिस्सा है। यह रणनीतिक इरादे के परिणाम के रूप में आता है। इसलिए जब हम अधिग्रहण के लिए जाते हैं तो इसमें संख्या का महत्व और केवल स्केल हासिल करना मकसद नहीं रहता है।
इसमें बाजार या उद्योग के दृष्टिकोण या फिर तकनीक के दृष्टिकोण से रणनीति भूमिका होती है। हम पिछले तीन वर्षों में किए गए 12 अधिग्रहण के बाद इसी तरह आगे बढ़ रहे हैं।