इप्का लैबोरेटरीज (Ipca Laboratories) ने गुरुवार को ऐलान किया कि उसने यूनिकेम लैबोरेटरीज (Unichem Laboratories) की अतिरिक्त 19.29 फीसदी हिस्सेदारी का अधिग्रहण खुली पेशकश के जरिये 597.5 करोड़ रुपये में कर लिया और इस तरह से उसकी शेयरधारिता इस कंपनी में 52.67 फीसदी पर पहुंच गई।
यूनिकेम लैब्स अब इप्का की सहायक कंपनी हो गई है। इप्का ने कहा कि खुली पेशकश में उसने 440 रुपये प्रति शेयर का भुगतान किया। इप्का का शेयर बीएसई पर 1.6 फीसदी गिरककर 898 रुपये पर बंद हुआ।
इससे पहले इप्का लैबोरेटरीज ने यूनिकेम लैब की 33.38 फीसदी हिस्सेदारी का अधिग्रहण 402.25 रुपये प्रति शेयर पर किया था, जिस पर कुल 945.35 करोड़ रुपये खर्च हुए थे और यह अगस्त में पूरा हुआ था। अधिग्रहण के तहत इप्का लैब ने यूनिकेम लैब के आम शेयरधारकों के लिए खुली पेशकश सामने रखी ताकि 26 फीसदी हिस्सेदारी का अधिग्रहण 440 रुपये प्रति शेयर पर कर सके।
इस अधिग्रहण के बाद यूनिकेम की पूर्ण स्वामित्व वाली कई अन्य सहायक अब इप्का लैब की सहायक बन गई है -निचे जेनेरिक्स यूके, यूनिकेम एसए पीटीवाई दक्षिण अफ्रीका, यूनिकेम फार्मास्यूटिका डो ब्रासिल, यूनिकेम फार्मा यूएसए, यूनिकेम लैब आयरलैंड और यूनिकेम चाइना।
यूनिकेम के पास ब्रांडेड जेनेरिक्स व एपीआई का बड़ा बास्केट है, जिसका विपणन वह कई देशों में करती है और उसके अहम बाजार हैं अमेरिका व यूरोप।
यूनिकेम लैब का गठन अमृत मोदी ने 1944 में किया था और उसके भारत में छह विनिर्माण संयंत्र हैं। इप्का लैब एपीआई समेत दवा फॉर्मुलेशन की बड़ी रेंज, ब्रांडेड जेनेरेक्सि व जेनेरिक्स का विपणन कई देशों में करती है।