एशिया इक्विटी फंडों में इस साल में सबसे ज्यादा पैसा अप्रैल के पहले हफ्ते में लगाया गया है। इस एक हफ्ते में इन फंडों में 60 करोड़ डॉलर का निवेश हुआ।
इन फंडों में भारत और चीन के फंड भी शामिल हैं। ताजा रिपोर्ट के मुताबिक इसमें से भारत के फंडों में दुनिया भर के निवेशकों ने अप्रैल के पहले हफ्ते में करीब 6.04 करोड़ का निवेश किया है जबकि चीन के फंडों में सबसे ज्यादा 37.7 करोड़ डॉलर लगाए गए। ये आंकड़े अंतरराष्ट्रीय फंडों को ट्रैक करने वाली फर्म ईपीएफआर ग्लोबल ने जारी किए हैं।
अप्रैल का पहला हफ्ता एशिया के फंडों (जापान के बिना) के लिए इस साल का सबसे बेहतरीन हफ्ता रहा है, निवेशकों को चीन जैसे देशों में वैल्यू देखी है और ताइवान में भी 22 को हुए राष्ट्रपति चुनावों के बाद ताजा निवेश आया है।
अलग अलग देशों की बात हो तो सभी चार ब्रिक देशों (ब्राजील, रूस, भारत और चीन) में इनफ्लो बढ़ा है। हालांकि पिछले चार हफ्तों की बात की जाए तो इस दौरान सबसे ज्यादा पैसा भारत से निकला है। इस दौरान देश से 24.76 करोड़ डॉलर निकल गए जबकि इस पूरे साल की बात करें तो इस दौरान इक्विटी फंडों से कुल99.47 डॉलर निकाल लिए गए हैं।
आंकड़ों के मुताबिक अगर दूसरे इमर्जिंग यानी उभरते हुए बाजारों की बात की जाए तो लातिनी अमेरिका और यूरोप, मध्य पूर्व और अफ्रीका (ईएमईए)के इक्विटी फंडों में भी अप्रैल के पहले हफ्ते में इनफ्लो बढ़ा है।
लातिनी अमेरिका क्षेत्र की बात की जाए तो शेयर्स एमएससीआई मेक्सिको इंडेक्स फंड में ही 17.1 करोड़ डॉलर का निवेश हुआ जबकि ईएमईए के दूसरे फंडों को रूस के कमोडिटी बाजार का फायदा मिला। लेकिन डाइवर्सिफाइड ग्लोबल इमर्जिंग बाजारों के इक्विटी फंडों में से अप्रैल के पहले हफ्ते में 19.8 करोड़ डॉलर की रकम निकाल ली गई।
ग्लोबल इक्विटी फंडों के इनफ्लो की बात करें तो अमेरिका, यूरोप, ग्लोबल और एशिया (एक्स जापान) इक्विटी फंडों में भी अप्रैल के पहले हफ्ते में पैसा आया और इनके पोर्टफोलियो में कुल 2 फीसदी का इजाफा हो गया। नौ बड़े फंडों में से छह फंडों में इस दौरान पैसा आया है और सबसे ज्यादा 1.53 अरब डॉलर एनर्जी सेक्टर के फंडों ने आकर्षित किए।
लेकिन जापान और पैसिफिक इक्विटी फंडों में से निवेश इस दौरान भी निकलता रहा है और फाइनेंशियल सेक्टर के फंडों को इसमें सबसे ज्यादा नुकसान हुआ है।