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बेयर स्टीयर्न्स अदालत में

Last Updated- December 05, 2022 | 4:44 PM IST

वित्तीय संकट का सामना कर रहे बेयर स्टीयर्न्स बैंक की परेशानियां खत्म होने का नाम ही नहीं ले रही हैं। अब जेपीमॉर्गन चेज द्वारा अधिग्रहण के मसले पर बैंक के शेयरधारकों ने ही उसे अदालत में घसीट लिया है। जेपी मॉर्गन चो ने बेयर स्टीयर्न्स को 2 डॉलर प्रति शेयर के दाम पर खरीदने की घोषणा की थी जो कंपनी के पिछले हफ्ते के भाव का केवल 10 फीसदी है।


बैंक के शेयरधारकों ने जहां आरोप लगाया है कि उसने निवेशकों को भ्रमित किया गया है वहीं एक कर्मचारी ने भी कहा है कि बैंक ने कर्मचारियों के प्रति अपनार् कर्तव्य नहीं निभाया। न्यूयॉर्क के ईस्टसाइड होल्डिंग इंक ने मैनहट्टन संघीय अदालत में शिकायत दर्ज करके गैर-उल्लेखित नुकसान और सामूहिक कार्रवाई की स्थिति बताने की दरख्वास्त की है ताकि 14 दिसंबर 2006 से 14 मार्च तक बेयर स्टीयर्न्स के हर शेयरधारक को इस मामले में भागीदार बनाया जा सके। कानूनी परामर्श देने वाली सैन डियागो की एक कंपनी कफलिन स्टोइया गेलर रुडमैन ऐंड रॉबिन्स का कहना है कि बेयर स्टीयर्न्स बाजार को यह जानकारी देने में चूक गई कि सबप्राइम मॉर्गेज संकट के चलते बैंक के हेज फंड मुश्कि ल में पड़ गए हैं। इसी फर्म ने यह मुकदमा दायर किया है।


दर्ज शिकायत में कहा गया है कि कंपनी ने गलत छवि पेश करके अपने व्यापार और भविष्य के बारे में धोखा देने की कोशिश की है। ईस्टसाइड की तरफ से शिकायत दर्ज कराने वाले वकील डेविड रोनफेल्ड ने कहा कि अगर फैसला या समझौता निवेशकों के हक में होता है तो बेयर स्टीयर्न्स के तमाम मामलों के लिए जेपीमॉर्गन ही जवाबदेह होगी।

First Published - March 19, 2008 | 1:16 AM IST

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