राम मंदिर की प्राण प्रतिष्ठा के बाद प्रधानमंत्री मोदी (PM Narendra Modi) ने सबसे पहला कदम ग्रीन एनर्जी की ओर बढ़ाया है। अयोध्या से वापस लौटकर PM मोदी जैसे ही अपने आवास दिल्ली पहुंचे, उन्होंने देशभर के 1 करोड़ घरों को सोलर रूफटॉप देने का वादा किया। यह सुविधा प्रधानमंत्री सूर्योदय योजना (Pradhanmantri Suryodaya Yojana) के तहत दी जाएगी।
प्रधानमंत्री सूर्योदय योजना के जरिये 1 करोड़ निम्न-मध्यम आय वाले लोगों की छतों पर सोलर पैनल लगाए जाएंगे, जो सूरज की रोशनी में चार्ज होकर लोगों के घरों को बिजली देगा। इसके लगने से बिजली खपत में जहां कमी आएगी, वहीं लोगों को बिजली कनेक्शन के लिए रजिस्ट्रेशन से लेकर बिल भरने तक की परेशानियों से कुछ हद तक फुरसत मिल जाएगी।
इसे लेकर PM मोदी ने दिल्ली के लोक कल्याण मार्ग पर बने अपने आवास पर संबंधित विभाग की मीटिंग बुलाई और कहा कि हर वे घर जिनके यहां छत है, उन्हें सूर्य की एनर्जी का फायदा मिलेगा और बिजली की बिल भी कम हो जाएगी। साथ ही उन्होंने कहा कि सरकार के इस कदम से बिजली की जरूरतों का उपयोग भारत को आत्मनिर्भर बनाने में किया जा सकता है।
इसके अलावा, भी जिन लोगों के घरों में छत पर पर्याप्त जगह है, उसका यूज भी इसी बहाने हो जाएगा। साथ ही साथ सोलर रूफटॉप सिस्टम का फायदा यह भी होता है कि इसमें भारी रकम बार-बार नहीं खर्च होती। शुरुआत में थोड़ा-बहुत खर्च करके जब सोलर पैनल आपके छत पर लग गया तो बस, खर्च की ज्यादा जरूरत नहीं। मेंटिनेंस में भी काफी कम खर्च आता है।
22 जनवरी की शाम को प्रधानमंत्री ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X पर पोस्ट करते हुए लिखा, ‘सूर्यवंशी भगवान श्री राम के आलोक से विश्व के सभी भक्तगण सदैव ऊर्जा प्राप्त करते हैं। आज अयोध्या में प्राण-प्रतिष्ठा के शुभ अवसर पर मेरा ये संकल्प और प्रशस्त हुआ कि भारतवासियों के घर की छत पर उनका अपना सोलर रूफ टॉप सिस्टम हो।’
PM मोदी ने आगे लिखा, ‘अयोध्या से लौटने के बाद मैंने पहला निर्णय लिया है कि हमारी सरकार 1 करोड़ घरों पर रूफटॉप सोलर लगाने के लक्ष्य के साथ ‘प्रधानमंत्री सूर्योदय योजना’ प्रारंभ करेगी। इससे गरीब और मध्यम वर्ग का बिजली बिल तो कम होगा ही, साथ ही भारत ऊर्जा के क्षेत्र में आत्मनिर्भर भी बनेगा।’
राम मंदिर की प्राण प्रतिष्ठा के बाद उसी दिन प्रधानमंत्री की तरफ से लिया गया यह फैसला कम और मध्यम आय वाले लोगों के लिए है। यानी इस योजना के तहत लोअर-मिडिल इनकम क्लास के लोगों के घर में सोलर एनर्जी से बिजली पहुंचानी है।
हालांकि, इसके लिए अभी तक सरकार ने कोई ऑफिशियल वेबसाइट, पोर्टल या किसी प्रक्रिया का अभी तक कोई ऐलान नहीं किया है। जल्द ही इसे लेकर पोर्टल जारी किया जा सकता है। लेकिन, इसका आवेदन सरकारी पोर्टल नैशनल पोर्टल फॉर रूफटॉप सोलर (National Portal for Rooftop Solar) पर किया जाएगा। आइये जानते हैं कैसे-
अगर आप भी प्रधानमंत्री सूर्योदय योजना के तहत सोलर पैनल अपने घर में लगवाना चाह रहे हैं तो नीचे बताए गए कुछ डॉक्यूमेंट की जरूरत आपको पड़ सकती है। इसके लिए सरकार की तरफ से पोर्टल जारी होने के बाद पूरी तरह से जानकारी मिल सकेगी।
जैसा कि प्रधानमंत्री ने बड़ी तेजी से यह निर्णय लिया है, उम्मीद जताई जा रही है कि सरकार जल्द ही पूरी प्रक्रिया को शुरू कर देगी। ऐसे में आप सभी डॉक्यूमेंट्स के साथ तैयार रहें और समय आते ही अप्लाई करें।
22 जनवरी को सरकार की तरफ से उठाया गया कदम अब तक का सबसे बड़ा कदम तो है, लेकिन पहला नहीं है। पहली बार PM मोदी जब प्रधानमंत्री की कुर्सी संभाले, उसी साल ही उन्होंने रूफटॉप सोलर प्रोग्राम लॉन्च कर दिया था। सरकार का लक्ष्य 2022 तक 40,000 मेगावाट या 40 गीगावाट की सोलर क्षमता हासिल करने का था।
नवीन और नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय (Ministry of New and Renewable Energy) की ऑफिशियल वेबसाइट के अनुसार, दिसंबर 2023 तक भारत की सोलर एनर्जी क्षमता करीब 73.31 गीगावॉट तक पहुंच गई है। इस बीच, दिसंबर 2023 तक रूफटॉप (छत पर लगा पैनल) सोलर क्षमता लगभग 11.08 गीगावॉट है।
केंद्र के पास वर्तमान में जो राष्ट्रीय रूफटॉप योजना है यह सोलर रूफटॉप प्रोजेक्ट की कुल लागत का 40 फीसदी वित्तीय सहायता प्रदान करता है।