प्रतीकात्मक तस्वीर | फाइल फोटो
चालू खरीफ सीजन में खरीफ फसलों की बोआई अंतिम चरण में चल रही है। पिछले साल की तुलना में अब तक 4 फीसदी ज्यादा खरीफ फसलें बोई जा चुकी हैं। साथ ही खरीफ फसलों की कुल बोआई सामान्य रकबा के 90 फीसदी को पार कर गई है।
इस सीजन की सबसे बड़ी फसल धान के रकबा में भी अच्छी खासी बढ़ोतरी देखने को मिल रही है। मोटे अनाज और दलहन फसलों की बोआई भी बढ़ी है। लेकिन तिलहन फसलों के रकबा में गिरावट दर्ज की गई है। कृषि व किसान कल्याण मंत्रालय के ताजा आंकड़ों के मुताबिक 8 अगस्त तक 995.63 लाख हेक्टेयर में खरीफ फसलें बोई जा चुकी हैं, जो पिछली समान अवधि में 957.15 लाख हेक्टेयर में बोई गईं इन फसलों से 4.02 फीसदी अधिक है। 364.80 लाख हेक्टेयर में धान की बोआई हो चुकी है, जो पिछली समान अवधि के 325.36 लाख हेक्टेयर रकबा से 12.12 फीसदी ज्यादा है। इस सीजन में गन्ने का रकबा 2.95 फीसदी बढ़कर 57.31 लाख हेक्टेयर हो गया है, जबकि कपास का रकबा 3.20 फीसदी घटकर 106.96 लाख हेक्टेयर रह गया।
8 अगस्त तक 106.68 लाख हेक्टेयर में दलहन फसलें बोई जा चुकी हैं, जबकि पिछली समान में यह आंकड़ा इसके लगभग बराबर 106.52 लाख हेक्टेयर था। इस सीजन की प्रमुख फसल अरहर के रकबा में गिरावट आई है। इसका रकबा पिछले साल के 42.87 लाख हेक्टेयर से इस साल 4.71 फीसदी घटकर 40.86 लाख हेक्टेयर रह गया। उड़द का रकबा 1.21 फीसदी बढ़कर 20.15 लाख हेक्टेयर हो गया, जबकि मूंग का रकबा 2.72 फीसदी बढ़कर 33.21 लाख हेक्टेयर हो गया।
मोटे अनाजों का रकबा 4.55 फीसदी बढ़कर 178.73 लाख हेक्टेयर हो गया। मक्का का रकबा 10.51 फीसदी बढ़कर 91.89 लाख हेक्टेयर हो गया।