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बाजार से 96,000 करोड़ रुपये जुटाएगी सरकार

Last Updated- December 05, 2022 | 5:02 PM IST

भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने कहा है कि वर्ष 2008-09 के खर्च के पैसों का एक हिस्सा जुटाने के लिए सरकार इस वर्ष अप्रैल से सितंबर महीने के दौरान प्रतिभूतियां जारी कर बाजार से 96,000 करोड़ रुपये उगाहेगी।


आरबीआई ने कहा कि सरकार की योजना अप्रैल महीने में 20,000 करोड़ रुपये जुटाने की है। चार अप्रैल से 11 अप्रैल के दौरान केंद्र सरकार 5-9 वर्षों के  गिल्ट की 6,000 करोड रुपये की प्रतिभूतियां तथा 20 वर्ष और अधिक अवधि के गिल्ट से 4,000 करोड़ रुपये जुटाएगी।अठारह अप्रैल से 25 अप्रैल के बीच दस से 14 वर्षों के सरकारी पत्र बेच कर 6,000 करोड़ रुपये और 20 वर्षों से अधिक अवधि के गिल्ट बेच कर 4,000 करोड़ रुपये जुटाएगी।


एक सार्वजनिक क्षेत्र के बैंक के टे्रजरी प्रमुख ने कहा, ‘यह योजना पिछले दिनों के  प्रचलन से कुछ भिन्न नहीं लग रहा है। जब पहली छमाही में पिछले ऋण के भुनाए जाने की मात्रा अधिक है तो उधार की उतना ही अधिक होगा।’बॉन्ड हाएस के एक डीलर ने कहा, ‘सरकार के उधार के अंक अनुमान से ज्यादा अधिक विचलित नहीं हैं। कुछ लोग सोच रहे थे कि यह एक लाख करोड़ रुपये का होगा। इसलिए यह ज्यादा सकारात्मक है।’


अनुमान है कि वर्ष 2008-09 की शेष अवधि की तुलना में अगले वित्त वर्ष की पहली छमाही में ब्याज दर अनुकूल बने रहेंगे और सरकार कम ब्याज दर के माहौल का लाभ उठाना चाहेगी क्योंकि कम ब्याज दर का मतलब है कि ब्याज के रूप में कम पैसों का भुगतान किया जाएगा।डेटेड प्रतिभूतियों के जरिये सरकार वर्ष 2008-2009 में 1,45,100 करोड़ रुपये उधार लेने वाली है जबकि वर्ष 2007-2008 में यह राशि 1,56,000 करोड़ रुपये थी।

First Published - March 25, 2008 | 11:19 PM IST

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