वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने शनिवार को कहा कि अमेरिकी डॉलर के मुकाबले अन्य मुद्राओं की तुलना में रुपया "बहुत अच्छी तरह से वापस आ गया है"।
उन्होंने यह भी कहा कि रिजर्व बैंक और वित्त मंत्रालय स्थिति पर बहुत करीब से नजर रख रहे हैं।
बता दें, वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण तीन दिवसीय पुणे यात्रा पर हैं। उन्होंने यात्रा के अंतिम दिन संवाददाताओं से कहा कि यदि कोई एक मुद्रा जो अपने आप में बनी हुई है और अन्य मुद्राओं की तरह उतार-चढ़ाव या अस्थिरता में नहीं आई है, तो वह भारतीय रुपया है। उन्होंने कहा " हमने बहुत अच्छी तरह से वापसी भी की है।"
विशेषज्ञों के अनुसार, हालही में आयी रुपये में गिरावट का मुख्य कारण यूक्रेन और रूस के बीच चल रहे युद्ध का वैश्विक विकास पर भू-राजनीतिक तनाव है। जिसका प्रभाव दुनिया भर के साथ-साथ भारत पर भी पड़ रहा है।
रूस यूक्रेन युद्ध ने कमोडिटी की कीमतों को बढ़ा दिया, जिससे विकसित दुनिया में मुद्रास्फीति में रिकॉर्ड वृद्धि हुई। जिसके कारण US Fed ने ब्याज दरों में भारी बढ़ोतरी की। नतीजतन पूंजी का अमेरिका वापस आना शुरू हो गया है, जिससे अन्य देशों की मुद्राओं की कीमतें घट गयीं।
शुक्रवार को रुपया अमेरिकी डॉलर के मुकाबले 81 रुपये के पार पहुंच गया । पिछले कुछ महीनों में रुपये की कीमतों में लगातार गिरावट देखी जा रही है। शुक्रवार को हुई 83 पैसे की गिरावट पिछले सात महीने में एक दिन में आई सबसे बड़ी गिरावट मानी गई ।
बता दें, इससे पहले अमेरिकी डॉलर के मुकाबले रुपया 19 पैसे गिरा था और 80.98 के निचले स्तर पर पहुंच गया था।