भारत की सरकारी तेल कंपनी भारत पेट्रोलियम कॉर्प (BPCL) ने रूस से सस्ते तेल की सप्लाई में कमी को पूरा करने के लिए मिडिल ईस्ट से कच्चा तेल खरीदना शुरू कर दिया है। कंपनी के फाइनेंस हेड वेटसा रामकृष्ण गुप्ता ने यह जानकारी एक इंटरव्यू में दी।
रूस से तेल सप्लाई में कमी
रिपोर्ट्स के अनुसार, भारत की सरकारी तेल कंपनियां, जो आमतौर पर रूसी तेल स्पॉट मार्केट से खरीदती हैं, जनवरी 2025 के लिए 8-10 मिलियन बैरल तेल नहीं खरीद पा रही हैं। पहले यह तेल बाजार में आसानी से मिल जाता था। भारत 2022 में यूक्रेन युद्ध के बाद यूरोपीय यूनियन द्वारा रूस पर लगाए गए प्रतिबंधों के चलते रूसी तेल का बड़ा खरीदार बन गया। फिलहाल रूसी तेल भारत के कुल ऊर्जा आयात का एक-तिहाई से अधिक हिस्सा है।
गुप्ता ने बताया कि BPCL को रूसी स्पॉट मार्केट से पूरी तेल सप्लाई नहीं मिल रही है। उन्होंने कहा, “हर महीने 2-3 कार्गो की कमी हो सकती है। जो भी रूसी तेल की कमी है, उसे मिडिल ईस्ट से पूरा कर रहे हैं। हाल ही में हमने ओमान से तेल खरीदा है।”
अन्य तेल स्रोतों की खोज
BPCL अपनी तीन रिफाइनरियों में 35-37% तक रूसी तेल का उपयोग करता है। कंपनी की कुल रिफाइनिंग क्षमता 7,06,000 बैरल प्रति दिन है। गुप्ता ने बताया कि अगर अगले साल रूसी तेल की सप्लाई में बड़ी कमी होती है, तो कंपनी WTI (वेस्ट टेक्सास इंटरमीडिएट) और मिडिल ईस्ट जैसे अन्य सस्ते विकल्प तलाशेगी।
रूस की तेल सप्लाई पर घरेलू मांग और OPEC के साथ उत्पादन कोटे की पाबंदियों का असर पड़ा है। इसके अलावा, रूसी तेल कंपनी रोसनेफ्ट ने रिलायंस इंडस्ट्रीज के साथ 2025 से अगले 10 साल तक प्रति दिन 5,00,000 बैरल तेल सप्लाई का समझौता किया है। इससे अन्य खरीदारों के लिए तेल की उपलब्धता और घट सकती है।
BPCL की नई योजनाएं
BPCL अपनी तेल आपूर्ति के स्रोतों को बढ़ा रहा है। कंपनी ने हाल ही में अर्जेंटीना से पहली बार कच्चा तेल खरीदा है। 2025-26 के लिए BPCL कतर से सालाना समझौते के तहत 10,000 बैरल प्रतिदिन कच्चा तेल उठाने की योजना बना रही है।
निवेश योजनाएं
BPCL अगले पांच साल (2028-29 तक) में ₹1.7 लाख करोड़ का निवेश करेगी। इस राशि का आधा हिस्सा कर्ज के माध्यम से जुटाया जाएगा। कंपनी ने मध्य प्रदेश के बीना रिफाइनरी विस्तार के लिए ₹32,000 करोड़ का कर्ज भारतीय बैंकों से ले लिया है। कंपनी अगले साल ₹4,000-₹5,000 करोड़ के कर्ज को नए सिरे से जुटाएगी और 2026-27 में बड़े निवेश के लिए विदेश से कर्ज लेगी। गुप्ता ने कहा कि अमेरिकी ब्याज दरों में कटौती से विदेशी कर्ज लेना सस्ता हो सकता है।
BPCL ने अपने विदेशी प्रोजेक्ट के लिए $2 बिलियन का कर्ज लिया है। कंपनी अगले पांच साल में मोज़ाम्बिक और ब्राज़ील में तेल और गैस प्रोजेक्ट के डेवलपमेंट पर ₹25,000 करोड़ खर्च करेगी। (रॉयटर्स के इनपुट के साथ)