खनन क्षेत्र की दिग्गज कंपनी वेदांता का शुद्ध मुनाफा चालू वित्त वर्ष की दूसरी तिमाही में 58.69 फीसदी घटकर 1,798 करोड़ रुपये रहा। कंपनी ने कहा कि दूसरी तिमाही में 2,067 करोड़ रुपये के असाधारण मद व्यय के कारण उसके शुद्ध लाभ में गिरावट आई है वित्त वर्ष 2026 की जुलाई-सितंबर तिमाही में कंपनी की आय 5.94 फीसदी बढ़कर 39,868 करोड़ रुपये रही। पिछले वित्त वर्ष की समान तिमाही में कंपनी को 1,160 करोड़ रुपये का प्रत्याशित लाभ हुआ था।
वेदांता के कार्यकारी निदेशक अरुण मिश्रा ने कहा, ‘वित्त वर्ष 2025-26 की पहली छमाही का प्रदर्शन वेदांता के जुझारूपन को दर्शाता है। हमने अनिश्चितताओं और प्रमुख जिंसों की कीमतों में गिरावट के बावजूद बेहतर प्रदर्शन किया है।’ मिश्रा ने आगे कहा कि मॉनसून के बाद मौसम की स्थिति बेहतर रहने से वित्त वर्ष 2026 की दूसरी छमाही में वेदांत का परिचालन अच्छा रहने की उम्मीद है।
कंपनी के पांच अलग-अलग फर्मों वेदांता एल्युमीनियम, वेदांता ऑयल ऐंड गैस, वेदांत पावर, वेदांता आयरन ऐंड स्टील और वेदांता में संभावित विभाजन पर कंपनी के मुख्य वित्तीय अधिकारी अजय गोयल ने कहा कि 12 नवंबर को राष्ट्रीय कंपनी विधि पंचाट (एनसीएलटी) के समक्ष होने वाली अगली सुनवाई निर्णायक होने की उम्मीद है। गोयल ने कहा कि कंपनी का ऋण और एबिटा अनुपात 1.37 गुना है जो पिछले साल के 1.49 गुना से बेहतर है। सितंबर तिमाही के अंत तक कंपनी पर शुद्ध कर्ज 62,063 करोड़ रुपये था। वेदांता समूह महत्त्वपूर्ण खनिजों, धातुओं, बिजली और प्रौद्योगिकी क्षेत्र में सक्रिय है।