facebookmetapixel
बैंकिंग सिस्टम में नकदी की तंगी, आरबीआई ने भरी 30,750 करोड़ की कमी1 नवंबर से जीएसटी पंजीकरण होगा आसान, तीन दिन में मिलेगी मंजूरीICAI जल्द जारी करेगा नेटवर्किंग दिशानिर्देश, एमडीपी पहल में नेतृत्व का वादाJio Platforms का मूल्यांकन 148 अरब डॉलर तक, शेयर बाजार में होगी सूचीबद्धताIKEA India पुणे में फैलाएगी पंख, 38 लाख रुपये मासिक किराये पर स्टोरनॉर्टन ब्रांड में दिख रही अपार संभावनाएं: टीवीएस के नए MD सुदर्शन वेणुITC Hotels ने लॉन्च किया प्रीमियम ब्रांड ‘एपिक कलेक्शन’, पुरी से मिलेगी नई शुरुआतनेपाल में राजनीतिक उथल-पुथल का पड़ोसी दरभंगा पर कोई प्रभाव नहीं, जनता ने हालात से किया समझौताEditorial: ORS लेबल पर प्रतिबंध के बाद अन्य उत्पादों पर भी पुनर्विचार होना चाहिएनियामकीय व्यवस्था में खामियां: भारत को शक्तियों का पृथक्करण बहाल करना होगा

चार फर्मों ने अधिकारियों को 2609 करोड़ रुपये का अनुचित लाभ पहुंचाया: कैग रिपोर्ट

Last Updated- December 22, 2022 | 10:49 PM IST
Rupee

भारत के नियंत्रक और महालेखा परीक्षक (कैग) ने इंडियन ऑयल कॉरपोरेशन (आईओसी) लिमिटेड, ऑयल ऐंड नेचुरल गैस कॉरपोरेशन (ओएनजीसी) लिमिटेड, गेल (इंडिया) लिमिटेड, और ओएनजीसी विदेश लिमिटेड (ओवीएल) जैसे चार केंद्रीय सार्वजनिक क्षेत्र के उद्यमों (सीपीएसई) द्वारा अधिकारियों को 2609 करोड़ रुपये के अनुचित लाभ पहुंचाने का पर्दाफाश किया है।

संसद में पेश एक अनुपालन ऑडिट रिपोर्ट में कैग ने कहा कि, सीपीएसई ने अपने अधिकारियों को उनके पद के आधार पर वाहनों के चलाने और रखरखाव का भुगतान करके लोक उद्यम विभाग (डीपीई) के दिशानिर्देशों का उल्लंघन किया है। आईओसीएल, ओएनजीसी, गेल और ओवीएल ने परिवहन भत्ता के रूप में प्रति माह 800 रुपये की एक निश्चित राशि रखी थी, जिसे तथाकथित कैफेटेरिया अप्रोच के तहत वाहन के आवाजाही और रखरखाव से जुड़े प्रतिपूर्ति व्यय (सीएमआरई) में से शामिल किया गया था।

एक कैफेटेरिया अप्रोच व्यक्तिगत योजना है जो नियोक्ताओं द्वारा लाभ के लिए कर्मचारियों की वरीयताओं को ध्यान में रखते हुए दी जाती है। 2017 में, डीपीई ने यह कहते हुए दिशानिर्देश जारी किए कि ‘कैफेटेरिया अप्रोच’ के तहत अधिकारियों को दी जाने वाली विभिन्न श्रेणियों की सुविधाओं और भत्तों की अधिकतम सीमा मूल वेतन की 35 फीसदी ही होगी।
कैग ने कहा कि वाहनों को चलाने और रखरखाव के लिए खर्च कैफेटेरिया एप्रोच की 35 फीसदी से अधिक था, जो कि डीपीई दिशानिर्देशों खिलाफ था। इसके कारण अधिकारियों को कंपनियों द्वारा अनुचित लाभ पहुंचाया गया।

कैग ने रिपोर्ट में कहा कि कर्मचारियों को व्यक्तिगत वाहनों के लिए सीएमआरई का भुगतान संगठन में उनके पद के आधार पर किया जाता है न कि वास्तविक आधार पर और इसलिए प्रतिपूर्ति के रूप में योग्य नहीं है। सीएमआरई का भुगतान प्रतिपूर्ति के बजाय भत्ते की श्रेणी में आता है और इसे कैफेटेरिया अप्रोच में शामिल किया जाना चाहिए।
कैग ने सिफारिश की कि सीपीएसई को वाहनों के ‘चलाने और रखरखाव’ के खर्च की प्रतिपूर्ति बंद कर देनी चाहिए क्योंकि यह डीपीई दिशानिर्देशों का उल्लंघन है।
सीपीएसई ने दावा किया कि वाहन किराए पर लेने की बजाय सीआरएमई अधिक किफायती और प्रशासनिक रूप से सुविधाजनक है।

कैग ने रिपोर्ट में कहा कि कंपनी का तर्क है कि यह पूरी तरह से परिचालन गतिविधियों के लिए सीआरएमई का भुगतान कर रही है, इसे उचित नहीं ठहराया जा सकता है क्योंकि, ये फर्में अपने अधिकारियों के दैनिक गतिविधियों के लिए अपने सभी विभागों/स्थानों के लिए अनुबंध के तहत वार्षिक आधार पर वाहन किराए पर लेने के अलावा 15 किलोमीटर से अधिक स्थानीय आवाजाही के लिए स्थानीय परिवहन शुल्क के रूप में अतिरिक्त भुगतान कर रही है। अप्रैल 2009 से अक्टूबर 2021 की अवधि के दौरान, आईओसीएल ने 1,447.72 करोड़ रुपये का भुगतान किया और गेल ने अपने अधिकारियों को परिवहन भत्ते के अलावा सीआरएमई को 414.66 करोड़ रुपये का भुगतान किया।

First Published - December 22, 2022 | 9:55 PM IST

संबंधित पोस्ट