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जबरदस्त मुनाफावसूली के बीच सोना धड़ाम! ऑल टाइम हाई से 2,500 रुपये फिसला, MCX पर 87,500 के नीचे आया

आज कारोबार के दौरान एमसीएक्स (MCX) पर सोने का बेंचमार्क कॉन्ट्रैक्ट 87,323 रुपये तक नीचे गया।

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अजीत कुमार   
Last Updated- March 21, 2025 | 8:16 PM IST

Gold drops Rs 2500 : घरेलू स्पॉट मार्केट में लगातार पांच कारोबारी दिन तक रिकॉर्ड बनाने के बाद आज शुक्रवार (21 मार्च) को सोने की कीमतों में जबरदस्त गिरावट दर्ज की गई। घरेलू फ्यूचर्स और ग्लोबल मार्केट में सोना लगातार 3 दिन तक रिकॉर्ड बनाने के बाद आज सुस्त पड़ा। इससे पहले ब्याज दरों पर अमेरिकी फेडरल रिजर्व (US Federal Reserve) के फैसले के बाद सोने ने गुरुवार (20 मार्च) को लगातार पांचवें दिन घरेलू स्पॉट मार्केट में जबकि लगातार तीसरे दिन घरेलू फ्यूचर्स और ग्लोबल मार्केट में नया ऑल टाइम हाई बनाया।

आज कारोबार के दौरान एमसीएक्स (MCX) पर सोने का बेंचमार्क कॉन्ट्रैक्ट 87,323 रुपये तक नीचे गया। इस तरह गुरुवार के ऑल टाइम हाई 89,796 से सोना करीब 2,500 रुपये नीचे आ गया है। हालांकि घरेलू स्पॉट मार्केट में यह कल के हाई से 592 रुपये कमजोर हुआ।

ग्लोबल लेवल पर बेंचमार्क स्पॉट गोल्ड ने आज 3,013.60 डॉलर प्रति औंस का इंट्रा-डे लो बनाया जबकि पिछले कारोबारी दिन यह रिकॉर्ड 3,057.21 डॉलर तक ऊपर गया था। बेंचमार्क यूएस गोल्ड फ्यूचर्स भी आज गुरुवार के हाई से 59 डॉलर तक नीचे आया है। इसने कल 3,065.20 डॉलर का रिकॉर्ड हाई बनाया था जबकि आज 3,005.90 डॉलर तक नीचे गया।

अमेरिकी डॉलर में मजबूती के बीच ऊपरी स्तरो से आई मुनाफावसूली की वजह से सोने की कीमतों में गिरावट आई है लेकिन ब्याज दरों में कटौती की संभावना, अमेरिका सहित दुनिया की अर्थव्यवस्था में स्लोडाउन और महंगाई के बढ़ने की आशंका के मद्देनजर ज्यादातर जानकार सोने को लेकर फिलहाल बेहद बुलिश हैं। उनका मानना है कि ग्लोबल लेवल पर ट्रेड वॉर छिड़ने की आशंका के मद्देनजर जो अनिश्चतिता की स्थिति बनी है उसमें बतौर सुरक्षित विकल्प (safe-haven) सोने की मांग बरकरार रह सकती है। साथ ही बढ़ते जियो-पॉलिटिकल टेंशन की वजह से भी बतौर सुरक्षित विकल्प सोने की मांग में और तेजी आने की उम्मीद है। इतना ही नहीं महंगाई के खिलाफ ‘हेज’ के तौर पर सोने की पूछ परख भी बढ़ रही है।

इसके अलावा इन्वेस्टमेंट डिमांड और सेंट्रल बैंकों की खरीदारी भी कीमतों के लिए सपोर्टिव हैं।

सोने में रिकॉर्डतोड़ तेजी के बीच लोग इसके ईटीएफ में जमकर निवेश कर रहे हैं। आंकड़े बताते हैं कि पिछले सात हफ्ते से गोल्ड ईटीएफ में लगातार इनफ्लो बना हुआ है। वर्ल्ड गोल्ड काउंसिल (World Gold Council) से मिले आंकड़ों के मुताबिक 14 मार्च को खत्म हुए हफ्ते के दौरान ग्लोबल लेवल पर गोल्ड ईटीएफ में 3.1 बिलियन डॉलर ((+32.7 टन) का नेट इनफ्लो आया। इससे पहले 24 जनवरी 2025 को खत्म हुए हफ्ते के दौरान ग्लोबल लेवल पर गोल्ड ईटीएफ में 0.9 बिलियन डॉलर (8 टन) का आउटफ्लो दर्ज किया गया था।

सोने की कीमतों में तेजी और इनफ्लो के दम पर 14 मार्च तक गोल्ड ईटीएफ का एसेट अंडर मैनेजमेंट यानी AUM बढ़कर रिकॉर्ड 325.2 बिलियन डॉलर पर पहुंच गया। टोटल होल्डिंग भी इस दौरान 3,394 टन पर दर्ज किया गया जो 21 जुलाई 2023 के बाद सबसे ज्यादा है। टोटल होल्डिंग 21 जुलाई 2023 को खत्म हुए हफ्ते के दौरान 3,403.3 टन था। इससे पहले फरवरी के आंकड़े भी बेहद शानदार रहे थे।

उधर चीन के केंद्रीय बैंक पीपुल्स बैंक ऑफ चाइना (PBoC) के मुताबिक उसकी तरफ से फरवरी  में 5 टन सोने की खरीद की गई। छह महीने के ब्रेक के बाद पीपुल्स बैंक ऑफ चाइना ने लगातार चौथे महीने गोल्ड खरीदा है। फरवरी  के अंत तक चीन का गोल्ड रिजर्व बढ़कर 2,290 टन पर पहुंच गया जो उसके कुल फॉरेक्स रिजर्व का 5.9 फीसदी है।

यदि ट्रंप की नीतियों की वजह से चीन और अमेरिका के बीच व्यापार को लेकर टकराहट और बढ़ती है तो शायद चीन का केंद्रीय बैंक सोने की खरीद में और तेजी लाए। इस बात की गुंजाइश इसलिए भी ज्यादा है क्योंकि चीन के कुल विदेशी मुद्रा भंडार में गोल्ड की हिस्सेदारी अभी भी 6 फीसदी के नीचे है। जबकि भारत के कुल विदेशी मुद्रा भंडार में सोने की हिस्सेदारी बढ़कर 11 फीसदी के ऊपर पहुंच गई है। जानकार मानते हैं के बदलते भू-राजनीतिक परिदृश्य (geo-political scenario) के मद्देनजर चीन गोल्ड की हिस्सेदारी को कम से कम 10 फीसदी तक बढ़ाना चाहेगा।

First Published : March 21, 2025 | 8:02 PM IST