Gold Price Today: लगातार 5 दिनों की तेजी के बाद आज सोमवार 25 नवंबर को सोने की कीमतों (gold prices) में जबरदस्त नरमी देखी जा रही है। घरेलू बाजार में आज सोना 1,369 रुपये कमजोर हुआ है। MCX पर आज भाव 76,316 (बिना GST शामिल किए) रुपये प्रति 10 ग्राम तक नीचे चला गया जबकि पिछले हफ्ते 77,685 रुपये प्रति 10 ग्राम की ऊंचाई तक पहुंचा था। पिछले हफ्ते घरेलू बाजार में सोना तकरीबन 4,500 रुपये मजबूत हुआ था।
ग्लोबल मार्केट में सोने (gold) की कीमतों में लगातार 5 दिनों की तेजी के बाद दिख रही नरमी के मद्देनजर घरेलू बाजार में सोना कमजोर हुआ है। अमेरिकी डॉलर इंडेक्स (US Dollar Index) और बॉन्ड यील्ड (US bond Yield) में कमजोरी के बावजूद ग्लोबल मार्केट में निवेशक फिलहाल ऊपरी स्तरों पर मुनाफावसूली कर रहे हैं। अगले महीने फेड की बैठक में ब्याज दरों में कटौती को लेकर बाजार में बनी अनिश्चितता ने भी निवेशकों को थोड़ा सतर्कता बरतने के लिए मजबूर किया है।
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अमेरिकी डॉलर (US Dollar) के मुकाबले भारतीय रुपये में आई मजबूती ने भी घरेलू बाजार में एक हद तक सोने पर दबाव बनाया है। रुपये में मजबूती के परिणामस्वरूप सोने का आयात सस्ता हो जाता है। आज कारोबार के दौरान भारतीय रुपया (Indian Rupee) 84.30 डॉलर के अपने दो हफ्ते से अधिक के ऊपरी स्तर पर पहुंच गया।
घरेलू फ्यूचर मार्केट
घरेलू फ्यूचर मार्केट एमसीएक्स (MCX) पर सोने का बेंचमार्क दिसंबर कॉन्ट्रैक्ट आज सोमवार को इंट्राडे ट्रेडिंग के दौरान 76,316 रुपये प्रति 10 ग्राम के निचले स्तर तक चला गया। पिछले हफ्ते शुक्रवार 22 नवंबर को इंट्राडे ट्रेडिंग के दौरान सोने का बेंचमार्क दिसंबर कॉन्ट्रैक्ट 77,685 रुपये प्रति 10 ग्राम के ऊपरी स्तर पर पहुंच गया था। इससे पहले 13 नवंबर को इंट्राडे ट्रेडिंग के दौरान सोने का बेंचमार्क दिसंबर कॉन्ट्रैक्ट 73,300 रुपये प्रति 10 ग्राम के निचले स्तर तक चला गया जबकि 30 अक्टूबर को यह 79,775 रुपये प्रति 10 ग्राम के ऑल.टाइम हाई लेवल पर पहुंच गया था। इस तरह से देखें तो सोना फ्यूचर मार्केट में 13 नवंबर के अपने लो से फिलहाल 3,016 रुपये ऊपर है। वहीं 30 अक्टूबर के अपने ऑल टाइम हाई से यह अभी भी 3,459 रुपये नीचे है।
घरेलू स्पॉट मार्केट
सोने की हाजिर कीमतों में भी ऐसी ही गिरावट देखने को मिल रही है। Indian Bullion and Jewellers Association (IBJA) के मुताबिक सोना 24 कैरेट (999) सोमवार को शुरुआती कारोबार में पिछले दिन की क्लोजिंग के मुकाबले 1,089 रुपये टूटकर 76,698 रुपये प्रति 10 ग्राम के लेवल पर देखा गया। शुक्रवार 22 नवंबर को कारोबार की समाप्ति पर सोना 24 कैरेट 77,787 रुपये प्रति 10 ग्राम दर्ज किया गया था। बुधवार 13 नवंबर को कारोबार की समाप्ति पर सोना 24 कैरेट 73,739 रुपये प्रति 10 ग्राम के लेवल पर देखा गया था। इससे पहले 30 अक्टूबर को यह 79,681 रुपये प्रति 10 ग्राम के ऑल-टाइम हाई लेवल तक पहुंच गया था। इस तरह से देखें तो सोना स्पॉट मार्केट में 13 नवंबर के अपने लो से 2,959 रुपये ऊपर है । हालांकि 30 अक्टूबर के अपने ऑल टाइम हाई से यह अभी भी 2,983 रुपये नीचे है।
ग्लोबल मार्केट
ग्लोबल मार्केट में सोमवार 25 नवंबर को कारोबार के दौरान स्पॉट गोल्ड (spot gold) 2 फीसदी से ज्यादा की गिरावट के साथ 2,658.39 डॉलर प्रति औंस तक नीचे चला गया। हालांकि आज ही शुरुआती कारोबार में यह 4 नवंबर के ऊपरी स्तर 2,721.34 डॉलर प्रति औंस तक भी पहुंच गया था। पिछले हफ्ते ग्लोबल मार्केट में स्पॉट गोल्ड 6 फीसदी मजबूत हुआ। सोने के प्रदर्शन के लिहाज से पिछला हफ्ता पिछले 20 महीने यानी मार्च 2023 के बाद का सबसे शानदार हफ्ता रहा। ग्लोबल मार्केट में गुरुवार यानी 14 अक्टूबर को स्पॉट गोल्ड 2 महीने के निचले स्तर 2,550.53 डॉलर प्रति औंस पर देखा गया था।
इसी तरह बेंचमार्क यूएस दिसंबर गोल्ड फ्यूचर्स (Gold COMEX DEC′24) भी आज कारोबार के दौरान 2,660 डॉलर प्रति औंस तक नीचे चला गया। शुरुआती कारोबार में यह 2,723.20 डॉलर प्रति औंस के उपरी स्तर तक भी पहुंच गया था। 14 अक्टूबर को कारोबार के दौरान यह 2,643.40 डॉलर प्रति औंस तक नीचे चला गया था।
इससे पहले 31 अक्टूबर को स्पॉट गोल्ड और यूएस गोल्ड फ्यूचर क्रमश: 2,790.15 और 2,801.80 डॉलर प्रति औंस के रिकॉर्ड हाई पर पहुंच गए थे।
क्या है रुझान?
ग्लोबल लेवल पर बढ़ते जियो -पॉलिटिकल टेंशन और ब्याज दरों में कटौती की संभावना के मद्देनजर गोल्ड को लेकर जानकार बुलिश हैं। इन्वेस्टमेंट खासकर ईटीएफ डिमांड में लगातार देखी जा रही मजबूती और केंद्रीय बैकों की खरीदारी भी मीडियम टू लॉन्ग टर्म में गोल्ड के लिए सपोर्टिव हैं।
मार्केट में अभी भी इस बात की संभावना प्रबल है कि अमेरिका का केंद्रीय बैंक दिसंबर की अपनी बैठक में एक बार फिर ब्याज दरों में कम से कम 25 बेसिस प्वाइंट यानी 0.25 फीसदी की कटौती सकता है। यदि अमेरिका में ब्याज दरों में आगे कमी आती है तो सोने को और सपोर्ट मिलना स्वाभाविक है। सोने पर कोई इंटरेस्ट/ यील्ड नहीं मिलता इसलिए ब्याज दरों के नीचे जाने से निवेश के तौर पर इस एसेट क्लास की मांग बढ़ जाती है।