कर्मचारी भविष्य निधि संगठन (ईपीएफओ) ने हाल ही में कहा है कि 26 नवंबर तक क्लेम की वापसी और रद्द करने की संयुक्त दर 21.59 फीसदी थी। सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स पर पोस्ट कर ईपीएफो ने बताया कि त्रुटियों के सुधार के लिए कम से कम 7.82 फीसदी दावों को वापस भेजा गया है और अयोग्य मिले 13.77 फीसदी दावों को रद्द कर दिया गया। अंतिम निकासी दावों के लिए अस्वीकृति दर 11.92 फीसदी और वापसी दर 13.44 फीसदी रही।
निकासी अथवा ऋण के लिए अयोग्यताः संगठन ऐसे दावों को रद्द कर देता है जो ईपीएफओ द्वारा उल्लिखित निकासी या ऋण के विशिष्ट मानदंडों को पूरा नहीं करते हैं।
दिशानिर्देश का अनुपालन न होने परः जरूरी प्रक्रियाओं का पालन नहीं होने वाले दावे और आवश्यक दस्तावेज जमा किए बगैर वाले दावों को भी अयोग्य माना जाता है।
1. गलत बैंक विवरण, जैसे गलत खाता संख्या अथवा आईएफएस कोड।
2. अधूरी केवाईसी जानकारी, जैसे आधार अथवा पैन की जानकारी नहीं देना और यूनिवर्सल अकाउंट नंबर (यूएएन) में बैंक विवरण का नहीं जुड़ना।
3. गलत नाम अथवा जन्म तिथि जैसी निजी जानकारी में त्रुटि होने पर भी क्लेम वापस कर दिए जाते हैं।
कारण जानेंः आमतौर पर ईपीएफओ स्टेटस अपडेट में दावों को रद्द करने और वापस करने के बारे में बताता है। मामले को सुलझाने के लिए कारण जानना महत्त्वपूर्ण होता है।
पात्रता सत्यापित करेंः अगर आपके दावे को रद्द कर दिया जाता है तो यह सुनिश्चित करें कि आपने जिस विशिष्ट दावे के लिए आवेदन किया है, उसके लिए आप पात्रता मानदंडों को पूरा करते हैं, जैसे कि पेंशन या निकासी के लिए पात्रता पूरी होनी चाहिए।
कमियां ठीक करेंः वापस किए गए दावों के लिए ईपीएफओ त्रुटियों या अधूरी जानकारी के बारे में बताता है। इनमें गलत विवरण, अधूरे दस्तावेज या व्यक्तिगत जानकारी में विसंगतियां शामिल हो सकती हैं। ईपीएफओ पोर्टल के माध्यम से अपने विवरण, दस्तावेज या किसी भी आवश्यक जानकारी को अपडेट करके आवश्यक सुधार करें।
दोबारा क्लेम करेंः मामले को सुलझाने के बाद आप ईपीएफओ सदस्य पोर्ट अथवा उमंग ऐप के जरिये दोबारा क्लेम करें। मगर यह सुनिश्चित कर लें कि आपने सभी जरूरी अपडेट और सुधार कर लिया है।