वैश्विक बाजार की तेजी के कारण अमेरिकी शेयर बाजारों में सूचीबध्द भारतीय कंपनियों के शेयरों ने संयुक्त रूप से प्रमुख आईटी कंपनी विप्रो के नेतृत्व में 11 अरब डॉलर की बढ़ोतरी दर्ज की।
जबकि 10 अक्टूबर को समाप्त सप्ताह के दौरान उन्हें 19.45 अरब डॉलर का नुकसान हुआ था। विप्रो की बाजार पूंजी में तीन अरब डॉलर की बढ़ोतरी हुई जबकि आईसीआईसीआई ने 2.25 अरब डॉलर और एचडीएफसी बैंक ने 1.63 अरब डॉलर की बढ़ोतरी दर्ज की।
नास्डाक और न्यू यॉर्क स्टॉक एक्सचेंज में सूचीबध्द 16 भारतीय कंपनियों के शेयरों के मूल्य में सोमवार को 11.54 अरब डॉलर से ज्यादा की बढ़ोतरी दर्ज हुई। वॉल स्ट्रीट की तेजी का आंकड़ा पिछले 75 साल में उच्चतम था।
डाओ जोन्स सूचकांक में 11 फीसदी से ज्यादा की बढ़ोतरी दर्ज हुई। प्रौद्योगिकी शेयरों वाले नास्डाक में 194.74 अंक या 11.81 फीसदी और स्टैंडर्ड एंड पुअर्स 500 सूचकांक में 104.11 अंक या 11.58 फीसदी की तेजी आई।