शेयर बाजार

Market This Week: अगस्त में भी ट्रंप टैरिफ का साया, सेंसेक्स-निफ्टी 1% से ज्यादा लुढ़के; FIIs ने की ₹29 हजार करोड़ की बिकवाली

Market This Week: मंथली बेसिस पर दोनों इंडेक्स अगस्त में 1 प्रतिशत से ज्यादा की गिरावट के साथ बंद हुए। यह लगातार दूसरा महीना है जब बाजार मासिक आधार पर गिरावट में रहे।

Published by
जतिन भूटानी   
Last Updated- August 29, 2025 | 4:37 PM IST

Market This Week: भारतीय शेयर बाजार में शुक्रवार (29 अगस्त) को लगातार तीसरे ट्रेडिंग सेशन में गिरावट का सिलसिला जारी रहा। बेंचमार्क इंडेक्स निफ्टी 50 और सेंसेक्स क्रमश: 0.30 फीसदी और 0.34 प्रतिशत गिरकर बंद हुए। मजबूत शुरुआत के बावजूद बाजार में गिरावट दर्ज की गई। इसका सबसे बड़ा कारण रिलायंस इंडस्ट्रीज शेयर (RIL Share) में गिरावट और टैरिफ टेंशन रहा।

वहीं, मंथली बेसिस पर दोनों इंडेक्स अगस्त में 1 प्रतिशत से ज्यादा की गिरावट के साथ बंद हुए। यह लगातार दूसरा महीना है जब बाजार मासिक आधार पर गिरावट में रहे। सरकार की तरफ से अगस्त में मध्य में कुछ प्रमुख श्रेणियों में जीएसटी दरों में कटौती का प्रस्ताव आने के बाद बाजार ने थोड़ी राहत की सांस ली।

हालांकि, यह उत्साह ज्यादा देर नहीं टिक पाया। ऐसा इसलिए क्योंकि डॉनल्ड ट्रंप प्रशासन ने भारत से आयात पर उत्पादों पर 25% अतिरिक्त टैरिफ लगा दिया। इससे आर्थिक वृद्धि और कॉर्पोरेट कमाई पर असर पड़ने की आशंका है। सरकार अब इसका असर कम करने के लिए नए निर्यात बाजारों की तलाश में जुटी है और लेबर इंटेंसिव सेक्टर्स को राहत देने के लिए कोविड-19 जैसे समर्थन पैकेज की तैयारी कर रही है।

साप्ताहिक आधार पर भी बाजार में गिरावट

निफ्टी-50 शुक्रवार को 0.3 फीसदी गिरकर 24,426.85 पर बंद हुआ। अगस्त महीने में इंडेक्स में कुल गिरावट 1.4 फीसदी रही। बीएसई सेंसेक्स में शुक्रवार को 0.34 प्रतिशत और पूरे महीने में 1.7% की गिरावट आई। जुलाई में भी दोनों इंडेक्स करीब 3 प्रतिशत तक गिरे थे। इस सप्ताह (25 से 29 अगस्त) में बेंचमार्क इंडेक्स करीब 1.8% गिरे। भारतीय बाजार इस सप्ताह एशियाई और उभरते बाजारों की तुलना में कमजोर प्रदर्शन करते दिखे।

FIIs ने ₹29 हजार करोड़ के शेयर बेचे

टैरिफ संबंधी टेंशन और कंपनियों के कमजोर तिमाही नतीजों के कारण विदेशी निवेशकों (FIIs) ने अगस्त में भारतीय शेयरों से 3.3 अरब डॉलर ( करीब ₹29 हजार करोड़) की निकासी की है। यह फरवरी के बाद से विदेशी निवेशकों की भारतीय इक्विटी बाजारों से सबसे बड़ी निकासी है।

ब्रोडर मार्केटस में भी इस मासिक आधार पर गिरावट दर्ज की गई। बाजार के 16 में से 12 प्रमुख सेक्टर्स अगस्त का महीना नुकसान के साथ समाप्त किया। इस दौरान सरकारी कंपनियां, दवा निर्माता, फाइनेंशियल सर्विसेज और एनर्जी सेक्टर के शेयरों में सबसे ज्यादा गिरावट देखने को मिली। स्मॉल कैप इंडेक्स अगस्त में 4.1 फीसदी और मिड कैप इंडेक्स 2.9 प्रतिशत गिर गए।

Also Read | Reliance AGM 2025 Highlights: Jio IPO, AI में निवेश से लेकर Google, Meta के साथ नई साझेदारी

ऑटो और कंजम्प्शन सेक्टर बने चमकता सितारा

हालांकि, ऑटो और कंजम्प्शन इंडेक्स में मजबूती दिखी। अगस्त में ये क्रमशः 5.5% और 2.7% चढ़े। अगले हफ्ते होने वाली जीएसटी काउंसिल की बैठक में बड़े पैमाने पर टैक्स कटौती की संभावनाओं के चलते इन दो सेक्टर्स को पुश मिला। इंडिविजुअल स्टॉक्स की बात करें तो हीरो मोटोकॉर्प अगस्त में 19.4% और मारुति सुजुकी 17.3% चढ़े। इनकी तेजी की वजह भी टैक्स कटौती की उम्मीद रही।

निवेशकों की वेल्थ इस वीक ₹7.11 लाख करोड़ घटी

निवेशकों को इस हफ्ते बाजार में 7.11 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा का नुकसान हुआ है। बीएसई में लिस्टेड कंपनियों का मार्केट कैप इस हफ्ते (25 अगस्त-29 अगस्त) को गिरकर 4,43,65,504 करोड़ रुपये रह गया। यह पिछले हफ्ते शुक्रवार (22 अगस्त) को 45,076,771 करोड़ रुपये था। इस तरह, बीएसई में लिस्टेड कंपनियों का मार्केट कैप साप्ताहिक आधार पर 711, 267 करोड़ रुपये घटा है।

First Published : August 29, 2025 | 4:31 PM IST