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स्मॉल, मिडकैप में म्युचुअल फंडों का निवेश बढ़ा

NSE निफ्टी स्मॉलकैप 250 इंडेक्स में म्युचुअल फंडों की औसत होल्डिंग दिसंबर 2023 की तिमाही के आखिर में 9 फीसदी थी, जो FY23 की समान अवधि के 7.76 फीसदी के मुकाबले ज्यादा है।

Last Updated- April 09, 2024 | 9:53 PM IST
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खुदरा निवेशकों के पास स्मॉलकैप कंपनियों की हिस्सेदारी एक साल पहले के मुकाबले अब ज्यादा है, जिसकी वजह इस पर केंद्रित म्युचुअल फंड योजनाओं को लेकर उनका दृढ़ विश्वास है।

कैपिटालाइन के आंकड़ों से पता चलता है कि एनएसई निफ्टी स्मॉलकैप 250 इंडेक्स में म्युचुअल फंडों की औसत होल्डिंग दिसंबर 2023 की तिमाही के आखिर में 9 फीसदी थी, जो वित्त वर्ष 23 की समान अवधि के 7.76 फीसदी के मुकाबले ज्यादा है। इस अवधि में 20 फीसदी से ज्यादा एमएफ होल्डिंग वाली कंपनियों की संख्या 20 से बढ़कर 26 हो गई। बाजार पर नजर रखने वालों ने कहा कि शुरुआती ट्रेंड बताते हैं कि मार्च 2023 की तिमाही के दौरान स्वामित्व में और इजाफा हुआ है।

स्मॉलकैप और मिडकैप शेयरों के स्वामित्व में म्युचुअल फंडों के बढ़ते हिस्से ने नकदी को लेकर नियामकीय चिंता पैदा की। इस साल बाजार नियामक ने फंड हाउस को अपनी योजनाओं का स्ट्रेस टेस्ट करने को कहा ताकि यह पता चल सके कि क्या वे निवेश निकासी में अचानक होने वाली बढ़ोतरी का प्रबंधन कर सकते हैं। म्युचुअल फंड के अधिकारियों के मुताबिक, इस बात को लेकर चिंता थी कि म्युचुअल फंडों के पास स्मॉलकैप शेयरों में बड़ा फ्री-फ्लोट स्वामित्व बाजार में नरमी के दौरान नकदी का मसला खड़ा कर सकते हैं।

कैलेंडर वर्ष 2023 में स्मॉलकैप व मिडकैप योजनाओं को ऐक्टिव इक्विटी योजनाओं में मिले शुद्ध निवेश का करीब 40 फीसदी हिस्सा मिला और वे कुल 1.6 लाख करोड़ रुपये के निवेश में से 64,000 करोड़ रुपये हासिल कर पाए। ये निवेश सुधरे हुए प्रदर्शन की पृष्ठभूमि में हुए। निफ्टी मिडकैप 100 और निफ्टी स्मॉलकैप 100 ने कैलेंडर वर्ष 2023 में क्रमश: 46.6 फीसदी व 55.6 फीसदी की बढ़ोतरी दर्ज की, जो सेंसेक्स व निफ्टी-50 सूचकांकों में हुई बढ़त के मुकाबले करीब दोगुना है।

स्मॉलकैप और मिडकैप फंडों में निवेश पिछले दो महीने में नरम हुआ है। जनवरी में लार्जकैप व फ्लेक्सीकैप फंडों में संयुक्त निवेश 17 महीने में पहली बार स्मॉलकैप फंडों से ज्यादा रहा। इसकी वजह स्मॉलकैप फंडों में निवेश कम मिलना और दो लार्जकैप केंद्रित योजनाओं में निवेश हुई बढ़ोतरी है। ऐसा ही ट्रेंड फरवरी में भी देखा गया। फंड मैनेजरों व वेल्थ मैनेजरों ने कहा कि स्मॉलकैप फंडों को पूरी तरह से दरकिनार करने की जरूरत नहीं है, लेकिन निवेशकों को अपना निवेश इच्छित स्तर तक लाने के लिए अपना पोर्टफोलियो दोबारा संतुलित करना चाहिए।

दिसंबर के आखिर में ज्यादा एमएफ निवेश वाली पांच अग्रणी स्मॉलकैप फर्मों में कल्पतरू प्रोजेक्ट्स, इक्विटास स्मॉल फाइनैंस बैंक, क्रॉम्पटन ग्रीव्स, पीवीआर आईनॉक्स और एमसीएक्स शामिल हैं। इन कंपनियों में उनकी हिस्सेदारी 30 फीसदी से ज्यादा है।

First Published - April 9, 2024 | 9:53 PM IST

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