जेफरीज के वैश्विक प्रमुख (इक्विटी रणनीति) क्रिस्टोफर वुड के पास अमेरिकी डॉलर वाले पेंशन फंड के वैश्विक पोर्टफोलियो में 10 फीसदी बिटकॉइन हैं। उनकी योजना तब मुनाफावसूली की है जब क्रिस्टोकरेंसी 1.5 लाख डॉलर के स्तर को छू लेगी। बिटकॉइन अभी 98,300 डॉलर पर चल रही है जो उनके लक्ष्य से करीब 53 फीसदी कम है।
पेंशन फंड पोर्टफोलियो ने बिटकॉइन में शुरुआती निवेश दिसंबर 2020 में किया था जब उसकी कीमत 22,779 डॉलर थी। वुड के ग्लोबल लॉन्ग ओनली इक्विटी पोर्टफोलियो में बिटकॉइन एक्सचेंज ट्रेडेजड फंड का 5 फीसदी हिस्सा है। वुड ने कहा कि सीधी बात यह है कि वह इन पोजीशन में ट्रेड नहीं करेंगे, खास तौर से पेंशन फंड पोर्टफोलियो में।
वुड ने निवेशकों को लिखे हालिया नोट ग्रीड ऐंड फियर में कहा है कि अभी ग्रीड ऐंड फियर का मानना है कि मुनाफावसूली शुरू करने के लिए 1.5 लाख डॉलर कीमत का अच्छा स्तर है। वुड अभी बिटकॉइन में निवेशित रहने को तैयार हैं। उनका मानना है कि आगे यह 1.5 लाख डॉलर के स्तर तक जाएगी, क्योंकि अमेरिकी राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप ने सिक्योरिटीज ऐंड एक्सचेंज कमीशन में क्रिप्टो के लिए नियामकीय बदलाव का संकेत दिया है।
वुड ने लिखा है कि निश्चित तौर ऐसा होने जा रहा है। यह भी महत्वपूर्ण है कि ट्रंप की ट्रांजिशन टीम के उप-प्रमुख और वाणिज्य मंत्री के तौर पर ट्रंप की पसंद हावर्ड ल्युटनिक भी बिटकॉइन और क्रिप्टो के पैरोकार हैं।
इस बीच, बिटकॉइन ने पिछले एक साल में 164 फीसदी की बढ़त हासिल की है – 37,000 डॉलर के स्तर से 98,300 डॉलर पर पहुंची है। हालांकि अप्रैल 2024 में क्रिप्टोकरेंसी घटकर आधा किया गया था क्योंकि नई बिटकॉइन बनने और उन्हें शामिल करने पर ऐसा किया जाता है जो अमूमन 4 साल में एक बार होता है
28 नवंबर 2012 को पहली बार ऐसा किया गया था। उसके बाद बिटकॉइन अगले 12 महीने में करीब 90 गुना बढ़ गई थी। 9 जुलाई 2016 को दूसरी बार ऐसा करने पर 18 महीने के भीतर उसमें 30 गुना का इजाफा हुआ।
11 मई 2020 को तीसरी बार नई बिटकॉइन जुड़ने पर यह मुद्रा अगले 11 महीने में 7.5 गुना चढ़कर अप्रैल 2021 में उच्चस्तर पर पहुंची। इसके अगले 18 महीने में आठ गुना उछली और नवंबर 2021 में 68,992 डॉलर के सर्वोच्च स्तर पर पहुंची। 19 अप्रैल 2024 के बाद बिटकॉइन 54 फीसदी चढ़कर 98,300 डॉलर के स्तर पर पहुंची है।
कीमतों में बढ़ोतरी के बावजूद वुड नहीं मानते कि बिटकॉइन सोने का विकल्प बन सकती है। हालांकि सोने की कीमतें साल 2023 की शुरुआत से येन, रेनमिबी, यूरो और स्विस फ्रैंक के मुकाबले क्रमश: 73 फीसदी, 54 फीसदी, 50 फीसदी और 40 फीसदी चढ़ी हैं।