पिछली आठ जनवरी को बाजार अपने चरम पर था और बाकी बाजार के साथ साथ पेनी स्टॉक्स यानी चवन्नी वाले शेयर भी कई गुना चढ़ गए थे लेकिन बाजार के गिरते ही ऐसे सारे स्टॉक्स अब धूल खा रहे हैं।
बीएसई में ऐसे 488 स्टॉक्स हैं जो अपने पेड अप वैल्यू यानी से भी नीचे कारोबार कर रहे हैं। यही नहीं, इनमें 308 शेयर तो ऐसे हैं जिन्होने जनवरी केपहले हफ्ते में अब तक का सबसे ऊंचा स्तर छुआ था।जब 8 जनवरी को बाजार अपने सबसे ऊंचे स्तर पर था तब केवल सात फीसदी ऐसे पेनी स्टॉक्स थे जो अपने पेडअप वैल्यू से नीचे कारोबार कर रहे थे। अब सेंसेक्स में 30 फीसदी करेक्शन आने के बाद इनमें से करीब 17 फीसदी स्टॉक्स अपनी पेडअप वैल्यू से नीचे कारोबार कर रहे हैं।
जब बाजार ताबड़तोड़ तेजी के दौर में था तो यही पेनी स्टॉक्स खूब चमक रहे थे बावजूद इसके कि इन कंपनियों को दिसंबर 2007 में शुध्द नुकसान हुआ था। इन 488 में से 214 कंपनियां ऐसी थीं पिछली तिमाही में जिनका कुल शुध्द नुकसान 392 करोड़ का था। इन 488 पेनी स्टॉक्स की कुल मार्केट वैल्यू करीब 60 फीसदी घट चुकी है।
जबकि मिडकैप स्टॉक्स की कुल मार्केट वैल्यू में इस दौरान 40 फीसदी की गिरावट रही है और स्माल कैप में 47 फीसदी की गिरावट आई। जो स्टॉक्स अपनी पेडअप वैल्यू से नीचे कारोबार कर रहे हैं उनमें से 78 फीसदी यानी 379 बी ग्रुप में हैं, 71 जेड ग्रुप में हैं, 27 एस ग्रुप में हैं और बाकी 11 टी ग्रुप में हैं।
इन पेनी स्टॉक्स में से 83 पिछले एक साल के अपने न्यूनतम स्तर पर हैं, इनमें प्रमुख हैं, गिन्नी फिलामेंट, इंटरफेस फाइनेंस, स्वाम सॉफ्टवेयर, टीएन टेलिकॉम, विष्णु इंटरनेशनल और विराट क्रेन इंडस्ट्रीज। चांदनी टेक्सटाइल इस दौरान 78 फीसदी गिरकर 26.47 से 5.85 रु. पर आ गया जबकि ट्राईपेक्स ओवरसीज 74 फीसदी गिरकर 27.45 से 7.05 रु. पर पहुंच गया। इसके अलावा टोरेन्ट गुजरात बायोटेक भी 73 फीसदी टूटकर 25.70 से 7 रुपए पर आ गिरा है।